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Massage Girl in Kottayam: Premium Relaxation Services

Our site can help you find a professional massage girl in Kottayam who will help you relax in the best manner possible. We connect you with professional therapists who can offer you a massage that will make you feel better and more relaxed. The pros on our list are ready to provide you with a fantastic experience at your house or in one of their particular spots, whether you want to relax or get away from it all.

Introduction

Massage is currently one of the finest methods to relax your mind, body, and overall health. Our website makes it easy to locate the top massage services in Kottayam that meet your demands. This will be a one-of-a-kind and calming experience for you.

Tottaa wants to make it simple for clients to find the top masseuse. The Kottayam massage service providers on our list offer the greatest quality, comfort, and competence, whether you want a full-body massage or a massage for a particular location.

How Tottaa Helps Advertisers Reach More Customers

Tottaa is not only a list of masseuses, it’s also a secure location for them to show off what they can do. People in Kottayam who are seeking massage services may find them on our website. This makes them easier to find and gets them more appointments.

Advertisers may simply put up profiles, offer their services, and talk about pricing and discounts on our sites. This makes sure that the relevant people notice your Kottayam massage service, which makes it easier to obtain more customers.

Different Types of Massages We Offer

There are a lot of different types of massage services on our site, so you may choose one that works for you. You may choose the kind of treatment that works best for you, whether it’s profound rest or a particular type of therapy.

1. Swedish Massage

A calm and gentle way to ease muscular tension and improve blood flow. This Kottayam massage is perfect for you if you want to relax and forget about your concerns.

2. Deep Tissue Massage

This approach employs a lot of pressure to get to deeper muscle layers. It’s helpful for folks who have muscular discomfort or stiffness that won’t go away. There are specialists on our profiles of massage girls in Kottayam who are good at deep tissue treatments that function effectively.

3. Aromatherapy Massage

Calming massage strokes and essential oils are beneficial in making people feel improved both emotionally and physically. Most massage companies in Kottayam employ the use of custom oil preparations to make you feel good.

4. Thai Massage

A therapy that wakes you up by using a mix of regular massage, stretching, and compression. This traditional massage in Kottayam helps you relax, become more flexible, and get your mind and body back in harmony.

5. Hot Stone Massage

Heated stones are placed on various parts of the body to help with deep muscular tightness. People who want to feel good, relax, and help their muscles recover quickly can use this massage service in Kottayam

How to Book Our Massage Services

Tottaa makes it simple and fast to book. With our listings, you can see what kind of massage you want, read about the providers, see that they are free and then contact them directly. After you choose, you can book a massage in Kottayam at your convenient time and location. In order to get your desired massage services, apply the following simple steps:

Step 1: Browse Our Listings

Take a peek around our site to view a few massage professionals. Each listing gives you information about the many sorts of massages, how long they last, how much they cost, and where they are situated. This makes it easier to choose the finest ones.

Step 2: Compare and Shortlist

Examine the profiles carefully to compare how the services, talents, and reviews posted by customers differ. This phase makes sure you choose a business that has the style, pricing, and supply you desire.

Step 3: Connect with the Provider

When you have decided, use the information that you are offered so that you can contact them directly. One can communicate it to the massage giver thus making it understood what massage you want at what time and when.

Step 4: Confirm the Appointment

The date, time and place of the service, which could be your home, a hotel or the spa where the therapist may be found. You also need to agree on the payment method and any other accords prior to commencement of the course.

Step 5: Relax and Enjoy Your Massage

All you have to do on the day of the appointment is have your area ready for the house visit. The remainder will be handled by the expert. Take it easy and enjoy a massage that is made just for you.

Frequently Asked Questions

To locate a professional who can meet your needs, read our biography, reviews and advertising.

Yes, many of the therapists on our site will come to your house so you may feel safe and at ease.

You may pick based on talents since most adverts provide their qualifications in their profiles.

It would be advisable to make a reservation earlier to guarantee that you would be able to get a massage, particularly against the prevalent services of massage.

Not at all. Tottaa exclusively connects users with service providers. The doctor gets to choose how to handle payment.

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Antarvasna

अन्तर्वासना/Antarvasna के पाठकों को मेरा प्यार भरा सलाम। मैं नियमित रूप से सारी कहानियां पढ़ती हूँ और बस यही कहूँगी कि मुझे बड़ा मज़ा आता है।

अब मेरे बारे में : मैं तेईस साल की लड़की हूँ, शादीशुदा हूँ और पति भी ठीक ठाक ही है। मेरा रंग सांवला है और मेरी गोलाईयाँ और गहराईयाँ काफी अच्छी हैं। मेरी शादी अभी छः महीने पहले ही हुई है।

मुझे चुदने में बहुत मज़ा आता है, खासकर के जब मैं कुतिया बन कर चुदती हूँ। यह सब मैंने फिल्मों में ही देखा है लेकिन अजय (मेरा पति) यह सब कर नहीं पाता। मुझे लंड चूसना भी बहुत अच्छा लगता है। लेकिन अजय का लंड चूंकि छोटा है मेरे गले तक नहीं जाता। मेरी भी इच्छा है कि ब्लू फिल्मों कि लौंडियों की तरह चुदूँ- खूब गले तक लंड चूसूँ। लेकिन चूंकि अजय का लंड सिर्फ पांच इंच का है मुझे उनसे यह सौभाग्य नहीं मिल पाया।

मगर एक दिन ऊपर वाले ने मेरी सुन ली। मेरे पड़ोस में एक शादी थी। उस शादी में एक बंदा आया था। था तो वो मेरे पापा का दोस्त लेकिन पापा जितने उम्र का नहीं था। चालीस से थोड़ा ही ऊपर का होगा। पता नहीं क्यों वो मुझ पर लट्टू हो गया। हालांकि उम्र में मुझसे काफी बड़ा था लेकिन बार बार वो मुझे ही देखे जा रहा था। परिचय हुआ। उनका नाम शीशपाल था। लोग उन्हें शिशु कहकर बुलाते थे। उन्होंने घर के सारे शादी वाले काम मेरे साथ किये। हम काफी करीब आ गए। एक बार हम एक फूलों की डलिया लेने ऊपर वाले कमरे में गए। वहाँ उन्होंने मुझे भींच लिया और मेरे होंठों पर अपने होंठ रख दिए। मुझे भी काफी मज़ा आया। मैंने भी उन्हें जकड़ लिया। तभी मेरे पति ने आवाज़ लगाई। मैं दौड़कर नीचे चली गई।

शादी हो गई- मैं वापस दिल्ली और वो जनाब पूना। कुछ ही दिनों में मेरी बहन के पति का ट्रान्सफर पूना हो गया। मेरी बहन गर्भवती हो गई और मायके नहीं आ पा रही थी। माँ ने मुझसे पूछा। मैं तैयार हो गई। मेरे पति ने भी इजाज़त दे दी क्योंकि वे भी अपने ऑफिस की तरफ से चार महीनों के लिए लन्दन जा रहे थे। और इसी तरह एक हफ्ते में मैं पूना पहुँच गई। और पूना के पहुँचते ही तीसरे दिन पापा का फोन आया कि शिशु पूना आ रहा है किसी काम से। कुछ सामान भेज रहा हूँ। मैं तो बस लट्टू हो गई उनसे मिलने के लिए।

शिशु जी एक सुबह साढ़े दस बजे के आसपास आये। चूंकि मेरी बहन और जीजू को एक कार्यक्रम में जाना था सो वो दोनों चले गए और मैं रह गई शिशुजी का इन्तजार करते। शिशुजी ने आते ही मुझ पर चुम्बनों की झड़ी लगा दी। फिर वे आकर सोफे पर बैठ गए और मैं उनकी गोद में। उन्होंने मुझे खूब दबाया, नोंचा, चूमा, चाटा, मैं सब कुछ करवा रही थी।

फिर मैंने उनसे कहा- मैं दस मिनट में नहा कर आती हूँ।

उन्होने कहा- मैं नहला दूं?

मेरा मन तो खुश हो गया। मैंने बोला- ना, मैं अभी आती हूँ।

मैं बाथरूम में घुस गई बिना कुण्डी लगाए !

मैं नंगी शावर के नीचे खड़ी हो गई। अपने जिस्म में खूब साबुन लगाया और पूरा जिस्म में मैं हाथ फेर रही थी। इतने में दो मज़बूत हाथ मेरे हाथों के नीचे से आये और मेरे मम्मों को मसलने लगे। मैं एकदम से चौंकी और देखा तो शिशु मेरे पीछे खड़े थे। उनका कड़क लंड मेरी कमर को मार रहा था। धीरे धीरे उन्होंने मेरे गालों को चूमना शुरू किया और एक हाथ मेरी चूत पर रखकर वहाँ साबुन लगाने लगे। मेरे झांटों पर इतना साबुन लग गया कि उनका पूरा हाथ उसमें समाने लगा। मैं तो उनके हाथ लगते ही झड़ गई। मैं इनकी तरफ मुड़ी और पहली बार मैंने इनका लंड देखा। बाप रे बाप ! लंड था या एक लोहे की छड़। मैंने लंड को पकड़ा और फिर मैं इनको देखने लगी।

शिशु बोले – लवीना खूब खेलो मेरे लंड से मेरी जान।

वे मेरे मम्मों को चूसने लगे। मैं हिल सी गई। फिर उन्होंने मेरे गीले जिस्म पर अपना हाथ फेरना शुरू किया और चूत में अपनी एक ऊँगली घुसेड़ दी। मेरा हाथ यकायक उनके लंड को मसलने लगा। मैं कह नहीं सकती कि उस समय मुझे क्या हो रहा था। मैं घुटनों के बल बैठी और मैंने उनका लंड चूसना शुरू किया।

उन्होंने भी मेरा सर पकड़कर मुझे मेरे लंड पर धक्के मारना शुरु किया। क्या लंड था- खूब मोटा और लम्बा। जब भी मेरे गले से टकराता मेरी साँसें रुक सी जाती थी।

इतने में शिशु बोले- हाँ लवीना ! चूस बेबी चूस ! और चूस ! और चूस।

इतने में एक धमाका सा हुआ और मेरा पूरा मुँह उनके माल से भर गया। एक गटक में मैंने सब अपने अन्दर ले लिया। पूरा होने के बाद भी मैं लंड को चूसती रही। इतने में उन्होंने मेरे सर को अपने लंड से अलग किया। एक बात तो कहूँगी। इनका लटका हुआ लंड भी अजय के लंड से कहीं ज्यादा मोटा और कहीं ज्यादा लम्बा है।

हम फिर शावर के नीचे खड़े हो गए। मैंने अपनी चूत को और इनके लंड को खूब साबुन से धोया और अगले पड़ाव की तैयारी में लग गए। हम दोनों एक ही तौलिये में बाहर आ गए।

बाहर निकलकर शिशु बोले- लवीना, तुम्हारे पापा ने कुछ सामान भेजा है और तुम्हें ढेर सारा प्यार। अभी प्यार कर लूं, सामान बाद में देख लेना।

उन्होने मुझे पलंग पर लेटाया और मेरी चूत को निहारने लगे। उन्होंने मेरी जाँघों को खूब सहलाया और मेरी झांटों में अपनी उंगलियाँ फिराने लगे। मेरी चूत को इन्होंने नोचा और उसके दोनों होंट अलग किये।

फिर मुझसे बोले- चुदेगी लवीना? मेरा लंड लेगी अपनी इस कोमल सी चूत में?

मैं तो कब से बेकरार थी कि शिशु जी मेरी चूत को फाड़ें। उन्होने फिर झुककर मेरी चूत को चूमा और फिर अपना मुँह मेरी झांटों में घुसेड़ दिया। थोड़ी ही देर में उनकी लपलपाती जीभ मेरी चूत के अन्दर घूमने लगी। मैं तो बस उछलती रही और उनका सर पकड़कर और अन्दर करती रही। शिशु जी ने मुझे ऐसे पांच मिनट तक चाटा और मैं झड़ गई। मैं तो इसी से ही थक गई। लेकिन अभी तो सफ़र की शुरूआत थी।

फिर वे घुटनों के बल बैठे और मेरी दोनों टांगों को अलग किया। अपना लंड मेरी झांटों में खूब फिराया और एक झटके से टोप अन्दर डाला। मैं चीख उठी। और दो झटकों में उनका दस इंच का लंड मेरी चूत का ध्वंस करता रहा। मैं बस करो बस करो की रट लगा रही थी।

शिशु जी ने कहा – बेबी, पापा से कहना कि शिशु ने तुम्हें खूब प्यार किया। बोलेगी ना मेरी लौंडिया?

मैं हाँ हाँ करती रही। लेकिन अब उनका इतना बड़ा लंड मुझसे झेला नहीं जा रहा था। कहाँ मैं एक तेईस साल की लड़की जिसकी चूत अभी ढंग से खुली भी नहीं और कहाँ यह पैंतालीस साल का सांड। मेरी चूत का तो इसने भोसड़ा बना कर रख दिया। शिशु जी अब स्पीड से मुझे चोद रहे थे। मेरे दोनों हाथ ऊपर थे और मेरी दोनों टांगें इनके कन्धों पर थी और यह मेरे ऊपर उठक-बैठक लगा रहे थे। पूरे कमरे में फच-फच की आवाज़ आ रही थी। और मैं आःह्ह्ह आआह्ह मम्मीई मम्मीईई रुकोओओओओ करती रही। लेकिन एक बात की दाद देनी पड़ेगी- शिशु जी बहुत कमाल का चोदते हैं।

मैं थोड़ा उठकर देखने लगी कि इतना बड़ा लंड घुस कहाँ रहा है। और मैं देखती रह गई। ऐसे बेदर्दी से ये मेरी चूत को चोद रहे थे कि क्या कहूं। दर्द भी हो रहा था और मज़ा भी। मैं खूब चुदी। इस तरह इन्होने मुझे दस मिनट तक चोदा और फिर झड़ने के समीप पहुंचे। झड़ने से पहले इन्होंने अपना लंड निकाला और मेरी चूत पे रख दिया। कम से कम सौ ग्राम माल निकला और यह मेरी सारी झांटों पर फैलाने लगे। मेरी चूत सूज कर और फूल गई। फिर वो मेरी बगल में लेट गए।

थोड़ी देर के बाद शिशु ने मेरा एक मम्मा अपने मुँह में डाल लिया। मेरे मम्मे काफी छोटे हैं। पूरा मम्मा इनके मुँह में था। खूब चूसा। इन्होने फिर मेरा एक हाथ अपने लंड पर रख दिया। वो साला फिर से उठने लगा। पूरा खड़ा हो गया तो मैं भी उसे हिलाने लगी और दबाने लगी। शिशु ने फिर मुझे कुतिया बन जाने को कहा। मैने सोचा शायद पीछे से लेंगे। लेकिन साब को तो मेरी गांड मारनी थी।

उन्होंने कहा- लवीना, मैं अब तेरी गांड मारूंगा।

हे भगवान् ! ये क्या करने की सोच रहे हैं। एक बार अजय ने डालने की कोशिश की थी तो वे नाकामयाब हो गए थे और सिर्फ उनके टोप से ही मैं चीखने लगी थी और यह तो मूसल है।

मैंने कहा- शिशु जी, आप जो कहेंगे, मैं मानूंगी मगर मेरी गांड को छोड़ दीजिये।

उन्होंने मुझे खूब चूमा और पुचकारा और कहा- दर्द होगा तो अपना लंड गांड से निकाल लूंगा।

खैर मैं तैयार हो गई- कोई और चारा भी तो नहीं था। मैं उल्टी लेट गई। उन्होने मुझे खूब चाटा और फिर मेरे दोनों चूतड़ खूब दबाये। और फिर अपनी एक ऊँगली मेरी गांड में डाल दी। मैं उचक गई। फिर वो उठे और मेरी अलमारी से एक क्रीम लेकर आये। उन्होने पूरी क्रीम मेरी गांड में डाल दी और फिर अपनी ऊँगली। अब ऊँगली आसानी से जा रही थी।

फिर मेरी दोनों टांगों को फैलाया और मेरी चूत के नीचे एक तकिया रख दिया। अपना लंड पकड़कर उसका टोप मेरी गांड के पास ले आये। फिर धीरे से उन्होने अपने टोप को मेरी गांड में डाला। मैं मर गई। इनका सुपाड़ा इतना मोटा है कि मेरी तो गांड छिल गई। मैं हिली और फिर सामान्य हो गई। शायद इसी का इंतज़ार कर रहे थे शिशु ! उन्होने एक जोर का झटका दिया और उनका आधा लंड मेरी गांड में समा गया। मैं चीख पड़ी लेकिन शिशु जी ने फिर एक और झटका मारा और फिर पूरा लंड मेरे अन्दर। ऐसा लगा जैसे पूरी धरती हिल गई हो।

और शिशु जी ने जो पेला मुझे- ऐसा लगा कि मेरी गांड के तो आज दो टुकड़े हो जायेंगे। ताज्जुब की बात तो यह है कि जब अजय कोशिश कर रहे थे तब कुछ भी नहीं हुआ और उसने कहा था कि मेरी गांड बहुत कसी है इसलिए गांड मारना मुश्किल है। अबे अजय जहां चाह वहाँ राह। अब तुझे गांड मारनी नहीं आती तो उसमे मेरी गांड का क्या कसूर। देख शिशु जी कैसे मेरी गांड का फलूदा बना रहे हैं। काश अजय मुझे शिशु के साथ देखते। मैं चीखती रही लेकिन शिशु जी तो अपना माल डालने तक कहाँ रुकने वाले थे।

इतने में वो बोले- शर्मा जी (मेरे पापा), आपकी लौंडिया को बहुत प्यार दे रहा हूँ। क्या लौंडिया पैदा की है- माँ कसम मज़ा आ गया। क्या चूसती है और क्या चुदती है। शर्मा जी देखिये तो सही, मैं कैसे आपकी बेटी की गांड मार रहा हूँ। ऐसा कहते वे और उत्तेजित हो गए और खूब जोर जोर से मेरी बुंड मारने लगे।

शिशु ने मेरी गांड को अच्छे से रौंदा। और तकरीबन बारह मिनट के बाद अपना पूरा माल मेरी गांड के अन्दर डालकर मेरे ही ऊपर गिर पड़े। एक गर्म एहसास हुआ मुझे । मेरी गांड में जो गरम लावा गिरा उससे मेरी गांड की अच्छी तरह से सिंकाई हो गई। उनका लंड अभी भी मेरी गांड में था। मैं पूरी पसीने में नहा चुकी थी। मेरे बालों को एक तरफ करके मेरे गाल को चूमकर बोले- लवीना कैसा लगा।

मैं कसमसाई और बोली- अच्छा तो लगा लेकिन काफी दर्द हो रहा है।

शिशु जी ने मुझे उस दिन तीन बार और चोदा और शाम के तीन बजे चले गए। मैं जब भी मायके जाती हूँ, उनसे ज़रूर मिलती हूँ और खूब चुदती हूँ। यह बात ना तो मेरे पति और ना ही उनकी पत्नी को पता है। जब तक मज़ा ले सको ले लो। क्या कहते हो आप लोग?

आपकी प्यारी लवीना Antarvasna

हेल्लो दोस्तो, Hindi Sex Stories

कई बार चुदाई करने के बाद अब मैंने Hindi Sex Stories सोच लिया कि इसमें जो मज़ा है वो और किसी चीज़ में नहीं है!
तो मैंने सोचा कि क्यूँ ना कॉल बॉय बन कर अपना चुदाई का शौक पूरा किया जाये! इससे मुझे कुछ पैसे भी मिल जायेंगे और चुदाई भी करने को मिलेगी!
लेकिन सवाल था कि यह सब कैसे होगा?

यह जानने के लिए पढ़िये आगे की कहानी:

मैं मुंबई में रहता हूँ! मेरी उम्र 21 साल, कद 6 फीट और रंग मध्यम है! मेरी बॉडी एवरेज है और मेरे हथियार का साइज़ 6” है!
मुझे चोदने का बहुत शौक है!

एक दिन मैं ब्लू फिल्म देख रहा था।
तब मेरे मन मैं एक ख्याल आया कि क्यों न किसी लड़की को आज होटल में ले जाकर चोदूं!

मैं एक लड़की को पैसे देकर उसे होटल में ले गया और वहां से घर में फ़ोन करके बताया कि मैं आज दोस्त की बर्थडे पार्टी के लिए जा रहा हूँ, इसलिए मैं कल सुबह आऊंगा!

दोस्तो, मेरे दिन आर्थिक तौर पर बहुत ख़राब चल रहे थे!
मैंने उस रात उस लड़की को बहुत चोदा!
जब मैंने दूसरा राउंड लिया तो वो लड़की जोर से रोने लगी!
मैं हैरान हो गया कि जो लड़की धंधा करती है वो मेरे लंड के कारण रो रही थी!
चोदने के बाद उस लड़की को मैंने अपनी प्रॉब्लम बता दी.

वो लड़की बोली- तुम किसी जिगोलो जैसे काम क्यूँ नहीं करते? तुम में वो जोश है और तुम्हारा हथियार भी बहुत तगड़ा है!

मैं सोचने लगा!
जब मैंने उससे पूछा कि यह सब होगा कैसे?
तब उसने कहा- वो सब मेरे ऊपर छोड़ दो!

सुबह ही मैंने उसका नंबर और नाम लिया.
उसका नाम प्रिया था.

एक दिन के बाद मैंने प्रिया को कॉल किया.
मुझे उसने नटराज होटल में बुलाया और मेरे वहां पहुँचने पर बताया- तुम्हें एक डॉक्टर के यहाँ कल रात को जाना है.

उसने मुझे उस पहली कस्टमर के बारे में जानकारी और उसका पता बताया.
मुझे एक सिन्धी डॉक्टर की बीवी आरती को चोदना था, जिसकी उम्र 23 साल थी. वो एक घरेलू औरत थी जिसका पति दिल का विशेषज्ञ था, उसकी उम्र 31 साल की थी!

प्रिया ने कहा- आरती को मैंने जब तुम्हारे बारे में बताया तो आरती ने तुम्हारे साथ रात गुजरने की जिद पकड़ी है!

आरती का रंग गोरा है. उसकी हाईट 5’7” और उसने तुम्हारे लिए रुपये दिए हैं!
प्रिया ने वो पैसे मेरे हाथ में दिए!
पैसे और सारी जानकारी मैंने प्रिया से ली और मैंने प्रिया को मेरे दिल में आये हुए डर के बारे में बताया!

प्रिया ने कहा कि आरती के पति किसी कोर्स के लिए दो दिन के लिए सुबह दिल्ली जा रहे हैं.
तब मैं निश्चिंत हो गया.

उस रात मुझे नींद नहीं आई!

मैं शाम के 6 बजे घर से निकला और माँ को कहा- माँ, आज मैं नहीं आने वाला! मेरी राह मत देखना!

मैं शाम 7 बजे उस पते पर पहुंचा और दरवाजे की घंटी बजायी तो सामने एक औरत आई.
मैंने वो कोड बोला जो प्रिया ने मुझे बताया था.
तब मुझे उसने अन्दर बुला लिया.

मैं समझ गया कि वही आरती है!

आरती ने दरवाजा बंद कर दिया.
शायद वो भी मेरा इंतजार कर रही थी.

अन्दर जाने के बाद उसने कहा- तुम तो रात 10 बजे आने वाले थे?

मैंने कहा-पहली बार मुझे किसी ने रुपये दिए हैं, जिसके लिए मैंने कुछ नहीं किया! इसीलिए सोचा कि उसका सब पैसा चुकता होना चाहिए, सो मैं जल्दी आया!

आरती मुस्काई और मैं पागल हो गया क्यूंकि आरती (जितना प्रिया ने बताया) उससे बहुत ज्यादा खूबसूरत थी!

मैंने आरती को कहा- अब अपना काम शुरू करें?
तो आरती ने मुझे कहा- मैं दो मिनट में आती हूँ, तुम बेडरूम में जा के बैठो!
और मुझे बेडरूम की तरफ इशारा किया!

मैं बेडरूम में जा बैठा.
आरती 10 मिनट के बाद दुल्हन की साड़ी पहन के हाथ में गिलास ले आई.
वह मेरे पास आकर बैठी और दूध का गिलास मुझे दिया.

मैंने पूछा- यह क्या है?
उसने कहा- मैं अभी तक कुंवारी हूँ! मेरे पति ने आज तक सुहागरात का मज़ा मुझे नहीं दिया!

वो मेरी तरफ ऐसे देख रही थी जैसे कह रही हो “वो सब आज तुम्हें ही करना है!”

मैंने वो दूध आधा पिया.
उसके बाद उसने बाकी का पीया.

मैंने देखा कि बेड पूरा फूलों से सजाया था. मैंने उसे कस के अपनी बाँहों में लिया और उसे किस करने लगा.
जहाँ मेरे होंठ रुकते थे, वहां उसे किस करता था.

उसके बाद मैंने उसकी साड़ी और चूड़ियाँ उतार दी.
अब वो मेरे सामने ब्लाउज में थी!

मैंने उसके गर्दन को चूमा और उसके स्तन दबाने लगा.

आरती सिसकारने लगी.
मैंने ब्लाउज खोल दिया.
उसके वक्ष देख के मैं बहुत गरम हो गया.

मैंने उन्हें चूसना और मसलना शुरू किया.
तब आरती के मुंह से ‘आआह्ह उफ्फ … दबाओ और जोर से’ निकलने लगा.

मैं चूसते चूसते नीचे की तरफ गया.
आरती और सिसकारने लगी.

मैंने उसकी पैंटी खोली और उसकी चूत चाटने लगा.

थोड़ी देर के बाद आरती ने अंदर डालने के लिए कहा.
मैंने अपने कपड़े निकाल दिए और अपना लंड हाथ में लेकर खड़ा रहा.

आरती आँखें फाड़-फाड़ के उसे देख रही थी.
थोड़ी देर के बाद वो प्यासी शेरनी की तरह झपट पड़ी, वो मेरे लंड को चूसने लगी!

थोड़ी देर के बाद मैंने लंड उसके मुंह से निकाल कर उस पर दो कंडोम चढ़ाये.
मैंने आरती की चूत को सहलाते हुए कहा- आरती, इसे अंदर लो!

मैं आरती की कमर को पकड़ कर लंड उसकी चूत पे रगड़ने लगा.
आरती आह्ह करने लगी और मैंने उसके बूब्स को पकड़ कर एक जोर का झटका दिया.

लंड चूत का बाहरी किनारा ले के फिसल गया.
आरती कुतिया की तरह चिल्लाई, उसने मुझे उसके बदन से दूर धकेल दिया!

मैं वापस उसको समझा कर उस पर चढ़ गया.
इस बार मैंने सही निशाना लगाया तो आधा लंड चूत में घुस गया.
आरती चिल्लाई- हाय भगवान्! प्लीज़, इसे निकाल लो!

मैंने दूसरा झटका दिया, लंड पूरा अंदर तक घुस गया.

तभी मैंने देखा कि आरती की आँखों से आंसू निकल आये.
उसके बाद मैंने चोदना शुरू किया.
मेरे हर एक झटके पर आरती चिल्लाती थी.

अब 10 मिनट के बाद आरती मेरा साथ देने लगी.

थोड़ी देर के बाद मेरी स्पीड बढ़ने लगी.

जैसे ही मैंने आखरी झटका दिया, मेरे अंडकोष जोर से पीछे हो गए और लंड बहुत अंदर तक चला गया.
मेरा पानी निकाल गया था

थोड़ी देर के लिए हम वैसे ही लेटे रहे!
आरती ने बेड की चादर की ओर इशारा कर के कहा- आज मेरा कुंवारापन टूट गया!
चादर खून से लाल हो गई थी!

फिर मैंने बाथरूम में जाकर कंडोम हटाया और फिर नीचे सो गया.

आरती ने मेरे ऊपर चढ़ कर दूसरे दौर के लिए तैयारियां की!

जब मेरा लंड खड़ा हो गया तब मुझे भी बहुत तकलीफ होने लगी और उस रात आरती ने मुझे अपना पति मानकर मेरे साथ 4 बार सम्भोग किया.

सुबह मुझे जाना था पर सिन्धी लड़की ने मेरी पूरी पॉवर चूस ली थी.
मैं दोपहर को नींद से उठा.

आरती भी उठ गई!
उसने मुझे लम्बा किस किया और कहा- नाश्ता करके जाना!

हम एक साथ नहाये और फिर आरती ने नाश्ता बना के मुझे दिया.

मैं दोपहर काम पर गया!

दोस्तो! आपको मेरी यह कहानी कैसी लगी? मुझे आपके कमेंट्स का इंतजार रहेगा। Hindi Sex Stories

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मेरे प्यारे दोस्तों,इस कहानी को पढ़ने Hindi Sex Stories वाले सभी पाठको को मेरा प्यार!!!!!!मैं हरियाणा का रहने वाला हूँ ! मेरी उमर २२ साल है ! यह कहानी तबकी हैं जब मैं १८ साल का था! जब हम किराए के मकान में रहते थे!

सर्दियों के दिन थे, मैं घर में अकेला था, जब मुझे सेक्स के बारे में कोई ज्ञान नहीं था। मैं बहुत शरमीला था खासकर कि लड़कियों और औरतो से।

सुबह का खाना तो आंटी दे गई थी। रात को उन्होंने अपने पास बुलाया खाना खाने के लिए। रात का खाना खा कर आंटी सो गई। आन्टी भी घर में अकेली थी। अंकल रात में खेत पर गए थे। मैं अपने कमरे में था। पर मुझे नींद नहीं आ रही थी।

मैं आंटी के कमरे में गया तो मैंने देखा कि आंटी लहंगा और ब्लाऊज़ में सो रही थी। उन्हें देख कर मेरे शरीर में कम्पन से होने लगी। मेरा धीरे धीरे आंटी की तरफ बढ़ने लगा। मैं अपने आप को आंटी की तरफ़ जाने से रोक नहीं पा रहा था। आंटी देखने में बिल्कुल मस्त थी। मेरा लण्ड आंटी को देखते ही खड़ा हो गया था।

मेरा एक हाथ आंटी की टांग पर गया और धीरे धीरे आंटी के चूतड़ों तक पहुच गया। मेरे शरीर में करंट सा दौड़ गया. इतने में ही आंटी जाग गई। जैसी ही आंटी जगी मैं वहाँ से भाग लिया और अपने कमरे में आ गया।

थोड़ी देर बाद आंटी मेरे कमरे में आई और आते ही मुझ पर चिल्लाई- तुम क्या कर रहे थे?

मैं एकदम डर गया, मेरा चेहरा लाल हो गया। मैं चुप रहा, आंटी मन ही मन खुश हो रही थी! मैंने हिम्मत करके कहा- आंटी आगे से ऐसा नहीं होगा !

आंटी बोली- क्या नहीं होगा ?

मैंने मुंह नीचे झुका लिया, आंटी बोली- अब शरमा रहा हैं ! जब शर्म नहीं आई जब कर रहा था !

मैंने आंटी से कहा- आंटी ! मैंने जान बूझ कर नहीं किया! मैं अपने आप को रोक नहीं पाया आपको लहंगा ब्लाऊज़ में देख कर !

मेरा लण्ड फिर तन गया था, आंटी ने एक नज़र से ही उसे देख लिया था! आंटी बोल अब तूने मुझे गरम कर दिया हैं तुझे मेरी प्यास बु्झानी होगी।

मैंने कहा- आंटी मुझे क्या करना हैं !

आंटी ने कहा- मेरे कपड़े उतार !

मैं डर गया, मैंने कहा- नहीं आंटी !

आंटी ने कहा- उतार ! नहीं तो तेरी ऐसी तैसी करवा दूंगी !

मैंने फिर डरते डरते ब्लाउज उतारी, और फिर लहंगा, आंटी ने अपनी चूची मेरे हाथों में थमा दी कहा- ले बेटा मज़े कर !

मैं आंटी की चुचियों से सहलाने लगा और मसलने लगा। मेरे शरीर में एक अलग सा अनुभव हो रहा था ! आंटी के मुँह से आहह उह्ह स स स स स की आवाज़ आ रही थी।

धीरे धीरे मैं आंटी के शरीर को चूमने लगा। मेरा लण्ड एकदम सख्त हो गया था, आंटी ने नीचे कुछ नहीं पहना था मेरा एक हाथ आंटी की चूत में जा रहा था, आंटी एकदम गरम हो गई थी, और गालियाँ दे रही थी- चोद साले ! चोद मुझे !

आंटी ने मेरा लण्ड हाथ में ले लिया और मेरे सारे कपड़े उतार दिए अब मैं और आंटी दोनों नंगे थे।

आंटी ने मुझसे पूछा कि तूने पहले कभी चुदाई की हैं?

मैंने कहा- नही !

तब आंटी ने कहा- अपना लण्ड मेरे नीचे वाले छेद में डालो !

मैंने पूरी कोशिश की लेकिन लण्ड चूत में नहीं घुस रहा था, तब आंटी ने अपनी गांड के नीचे तकिया लगाया, मुझे खड़ा करके लुंड घुसाने को कहा। इस बार लण्ड का सु्पाड़ा चूत में घुस गया, मुझे ऐसा लग रहा था कि मैं स्वर्ग में हूँ !

उसके बाद एक झटके में ही लण्ड पूरा आंटी की चूत में घुस गया ! तीन चार झटको में ही मैं झड़ गया।

तब आंटी ने बताया कि पहली बार ऐसा ही होता हैं, तुम सच बोल रहे थे कि तुम ने पहले चुदाई नहीं की हैं।

उस रात आंटी की तीन बार चुदाई की, फिर तो जब भी मौका मिलता में आंटी को चोदता।

अब हम अपने मकान में आ गए हैं। मैं आंटी को बहुत मिस करता हूँ !

आपको मेरी कहानी कैसी लगी !

मुझे जरूर मेल करें !!!!Hindi Sex Stories

फ्रेंड से अफेयर और सेक्स हाय फ्रेंड्स मेरा नाम मालविका हैं मेरी उम्र 27 साल हैं और मेरा फिगर 36-34-38 हैं। मेरे बड़े बड़े बूब्स और बड़ी गांड बहुत सेक्सी हैं। मेरे हसबैंड का नाम विजय हैं उनकी उम्र 29 साल हैं और वो बड़े पद पर नौकरी करते हैं। वो सुबह 9 बजे आफिस जाते हैं शाम को 6 बजे के बाद वापस घर आते हैं। उनके शनिवार संडे को छुट्टी रहती हैं तो हम उस समय बहुत एजोंय करते हैं। मेरी सेक्स लाइफ अच्छी हैं मेरे हसबैंड सप्ताह में तीन चार बार मेरे साथ चुदाई करते हैं। उनका लंड छ इंच लंबा और तीन इंच मोटा हैं। हम साथ में पोर्न देखते हैं सेक्स स्टोरी पढ़ते हैं। हसबैंड मुझे आगे पढ़ने के लिए मोटीवेट करते हैं इसलिए मैंने आगे तैयारी शुरु कर दी। फिर मैं दिन में तीन चार घंटे कोचिंग जाने लगी। मैं सुबह सुबह मार्निंग वॉक पर जाती हूं हसबैंड कभी कभार चलते हैं इसलिए मैं एक्टिवा लेकर जाती हूं। मैं हमेशा टाइट कपड़े पहनती हूं इस कारण लोग मुझे बहुत घूरते हैं। वहां मेरी फ्रेंड्स भी आती हैं और वो भी टाइट कपड़े पहनकर आती है ताकि लोग उन्हें देखे। एक बार मैं सुबह मार्निंग वॉक कर रही थी तभी मैंने नोटिस किया कि एक अंकल मुझे बहुत ज्यादा घूर रहे थे फिर जब मैं बेंच पर रिलेक्स होने के लिए बैठी तो वो मेरे पास आकर बैठ गए और बातें करने लगे। वो दिल्ली के बारे में पूछ रहे थे। मैं भी उनको बता रही थी वो बोले कि उनकी अभी यहां ट्रांसफर हुई हैं इसलिए वो ज्यादा जानते नहीं हैं। उन्होंने अपना नाम वी एस रामन बताया वो दिल्ली में एक बड़े इंस्टीट्यूट में बड़े अधिकारी थे उनकी उम्र 56 साल थी और उनकी पत्नी मुंबई में नौकरी करती हैं और फैमिली साउथ से है और वही रहती हैं। दिल्ली में वो अकेले रहते हैं। मार्निंग वॉक पर रोज उनसे बातें होने लगी उन्होंने मेरा नंबर लिया और मुझे रोज मैसेज करने लगे। फिर वो रोज मुझे फोन करते और बातें करते। फिर वो मुझे कोचिंग से घर छोड़ने लगे और हम साथ में बाहर लंच करते। वो घर छोड़ने आते तो जाते समय मेरे हाथ मिलाते। वो मुझे अक्सर महंगे महंगे गिफ्ट देते थे। एक बार उन्होंने कहा कि मालविका तुम मुझे अच्छी लगती हो तो मैंने कहा सर मैं समझी नहीं वो बोले क्या तुम मेरी फ्रेंड बन सकती हो मैंने कहा सर मैं आपकी बेटी जैसी हूं वो बोले मालविका प्यार में उम्र नहीं देखते। मैं बोली कि मैं मैरिड हूं वो बोले मैं भी मैरिड हूं पर मेरी वाइफ मुंबई में नौकरी करती हैं और साल में दो तीन बार ही मिल पाते हैं। तुम मुझे बहुत अच्छी लगती हो मैं तुमसे फ्रेंडशिप करना चाहता हूं। फिर वो जमीन पर घुटनों पर बैठ गए और मुझे रोज देने लगे मैंने रोज लेने से मना कर दिया तो बहुत रिक्वेस्ट करने लगे तो मैंने रोज ले लिया फिर उन्होंने मुझे एक गिफ्ट दिया तो मैंने उसे रख दिया फिर वो बोले इसे खोलकर देखो तो मैंने उसे खोला तो उसमें दो लाख रुपये थे मैंने कहा सर ये किस लिए तो कहा कि तुम्हारे लिए गिफ्ट हैं मैंने कहा इतने रुपये कि क्या जरुरत थी तो बोले कि तुम हसीना हो और तुम्हारे लिए ये गिफ्ट बहुत कम हैं। फिर बोले मैं कल तुम्हें लंच के लिए लेकर जाऊंगा। फिर वो चले गए। दूसरे दिन मैं कोचिंग से उनके साथ लंच के लिए चली गई वहां से वो मुझे शापिंग करवाने लेकर गए और महंगे कपड़े दिलवाए और सेक्सी ब्रा पेंटी भी दिलवाई। फिर वो मेरे साथ घर आए और घर आकर उन्होंने मुझे हग करके मेरे गाल पर किस किया। फिर वो बोले कि कल दिन में मैं आऊंगा तुम ये पहनकर तैयार होना मैं बोली ठीक हैं। फिर दूसरे दिन मेरे हसबैंड आफिस चले गए और मैं कोचिंग नहीं गई। दिन में एक बजे रामन सर ने फोन किया बोले तुम तैयार हो मैंने कहा हां मैं तैयार हूं वो बोले मैं आ रहा हूं मैंने कहा ठीक हैं फिर वो आधे घंटे में मेरे घर आए मैं भी सेक्सी ब्रा पेंटी और नाइटी पहनकर तैयार हो गई थी। उन्होंने घर में आते ही मुझे किस करना शुरु कर दिया। फिर हम हाल में सोफे पर बैठ गए मैं काफी बनाकर लाई और हमने काफी पी। फिर रामन सर बोले कि अब बैडरुम में चलो फिर हम मेरे बैडरुम में चले गए। रामन सर ने दरवाजा अंदर से बंद कर दिया और मुझे किस करने लगे। वो मेरे बूब्स और गांड दबा रहे थे। फिर उन्होंने कोई सेक्स टेबलेट ली और अपने कपड़े उतारने लगे वो सिर्फ अंडरवियर मैं मेरे सामने खड़े थे। उनका शरीर थोड़ा मोटा था और बहुत मजबूत था। उनका तना हुआ लंड अंडरवियर में से दिख रहा था। फिर उन्होंने मेरी नाइटी उतार दी और बोले कि मेरा लंड मुंह में लो। मैंने कहा ठीक हैं फिर मैं उनका लंड मुंह में लेकर चुसने लगी। फिर उन्होंने अपना अंडरवियर उतार दिया और नंगे हो गए। उन्होंने मुझे भी नंगा कर दिया। उनका लंड पांच इंच लंबा और तीन इंच मोटा था। उन्होंने लेपटाप पर एक पोर्न मूवी चला दी जिसमें दो काले अफ्रीकन एक गोरी लड़की की चुदाई कर रहे थे। फिर रामन सर ने मुझे बैंड पर लिटा दिया और मेरी चुत चाटने लगे। वो अंदर तक जीभ डाल रहे थे। फिर वो बैंड पर बैठ गए और मैं नीचे बैठकर उनका लंड चुसने लगी। वो मेरा सिर पकड़ कर लंड पर दबा रहे थे। पांच मिनट बाद उन्होंने मुझे बैड पर मिशनरी पोज में चोदना शुरू कर दिया वो धीरे धीरे मेरी चुदाई कर रहे थे और बोल रहे थे मालविका तुम्हारी चुत बहुत टाइट हैं। वो अपना लंड पुरा बाहर निकालते और अंदर डालते मुझे बहुत मजा आ रहा था। बार उन्होंने मुझे अपने लंड पर बैठा दिया और चोदने लगे कुछ देर बाद उन्होंने मुझे खड़ा किया और आगे से मेरी चुत की चुदाई कर रहे थे। पांच मिनट बाद उन्होंने अपना स्पर्म मेरी चुत में ही गिरा दिया और उनका स्पर्म मेरी चुत से बाहर आने लगा। मैंने स्पर्म साफ किया और बैड पर बैठ गई। रामन सर का लंड सेक्स टेबलेट के कारण तनाव हुआ था। थोड़ी देर बाद उन्होंने मुझे घोड़ी बनाया और पीछे से चोदने लगे पहले वो धीरे कर रहे थे फिर उन्होंने स्पीड बढ़ा दी और तेज धक्के लगाने लगे। मुझे दर्द हो रहा था। मैं - सर धीरे करो दर्द हो रहा हैं रामन- अभी तेरा दर्द मिटाता हूं और तेरी चुत का भौसडा बनाता हूं बार वो मेरी गांड पर अपने हाथ से मारने लगे इस कारण मुझे और दर्द होने लगा। मैं - सर धीरे करो रामन- अभी तुझे बहुत अच्छा लगेगा मैं - धीरे चोदना फिर उन्होंने स्पीड बहुत तेज कर दी और मेरी कमर पकड़ कर तेज स्पीड में मेरी चुत में धक्के लगाने लगे। मैं - आआआआआआ उहहहहहह ओओओओओओओ दर्द हो रहा हैं धीरे चोदो मुझे रामन- अब रुक नहीं सकता मेरी जान आज तुझे चोदकर तेरी चुत फाड़ दूंगा। मैं - धीरे चोदो मुझे रामन- अभी मैं धीरे करता हूं फिर उन्होंने स्पीड कम की और मेरे बूब्स को दबाने लगे फिर उन्होंने वापस स्पीड तेज कर दी मैं - आआआआआआ उहहहहहह ओओओओओओओ आईईईईईईई ओह ओह आ आ रामन- यह माय फकिंग बेब मैं - ओओओओओओओ आईईईईईईई ओह ओओओओ आहहहहह दस मिनट की चुदाई के बाद उन्होंने मेरी चुत में अपना स्पर्म गिरा दिया और बैड पर लेट गए। मैं उनके पास लेट गई। फिर वो उठे और नंगे ही किचन से चाकलेट लेकर आए और मुझे दी फिर हमने चाकलेट खाई और बातें करने लगे। फिर उन्होंने मेरी गांड में क्रीम लगाकर अंगुली डाल दी मैंने कहा गांड मत मारना तो बोले कि आज हमारी फ्रेंडशिप का सेलिब्रेशन है तो मैं मान गई। कुछ देर अंगुली करने के बाद उन्होंने अपना लंड क्रीम लगाकर मेरी गांड को चोदने लगे। टेबलेट के कारण उनका लंड तना हुआ था। मुझे गांड में दर्द होने लगा। वो पन्द्रह मिनट तक गांड चोदने के बाद मेरी गांड पर स्पर्म गिरा दिया। फिर उन्होंने कपड़े पहने और मैंने भी वापस नाइटी पहनी। उन्होंने जाते समय मुझे गिफ्ट दिया उनके जाने के बाद मैं गिफ्ट खोलकर देखने लगी उसमें तीन लाख रुपये थे। फिर मैं सो गई और शाम को पांच बजे उठकर कपड़े बदले और लोअर टी-शर्ट पहन लिए। रात में हसबैंड चोदना चाहते थे पर मैंने मना कर दिया। फिर रामन सर मुझे सप्ताह में दो तीन बार चोदने लगे और पैसे भी देने लगे। एक बार मेरे हसबैंड को पता चल गया दिन में रामन सर मेरे घर आए थे और हसबैंड भी उस दिन जल्दी आ गए उन्होंने घर के बाहर कार देगी और बाहर ही रुक गए। रामन सर के जाने के बाद वो घर आए और दो तीन बाद पूछा तो मैंने कहा कि कोई नहीं आया था तो उन्होंने अलमारी में से नाइटी निकाल कर कहा कि ये खांसने दिलवाई मैं बोली मैंने ली हैं तो कहा पहनती क्यों नहीं मैं बोली अब शुरु करुंगी तो बोले इसे तुम पहन चुकी हो बताओ किसके लिए पहनी फिर मुझे हसबैंड को सब बताना पड़ा पहले वो नाराज़ हुए बाद में मेरे बहुत मनाने पर मान गए। मैंने कहा मैं आपको मेरी फ्रेंड के साथ चुदाई करवाने दूंगी आप जो कहोगे करुंगी। फिर वो खुश हो गए। एक बार रामन सर का अमेरिका का फ्रेंड दिल्ली आया उसका नाम जैक था। सर ने मुझे भी उससे मिलवाया। दूसरे दिन सर ने कहा कि जैक तुम्हें चोदना चाहता हैं मैं बोली मैं तैयार नहीं हूं। सर बोले वो इसके लिए कुछ भी देने को तैयार हैं मैंने मना कर दिया। बार सर ने उसे फोन करके बता दिया कि मैंने मना कर दिया हैं। उसने सर को कहा कि वो दस लाख देने को तैयार हैं। सर ने कहा वो तुम्हे दस लाख देने को तैयार हैं तो फिर मैं मान गई। दूसरे दिन में दो बजे रामन सर के घर चली गई मैंने टाइट जींस और टी-शर्ट पहना था। रामन सर और जैक वहीं पर था। उसने मुझे देखा और पहले हाथ मिलाकर फिर हग किया और मुझे किस कर दिया। फिर थोड़ी देर बातें करने के बाद हमने काफी पी और रामन सर और जैक ने सेक्स टेबलेट ली फिर सर ने म्यूजिक लगा दिया और हम तीनों साथ में डांस करने लगे सर और जैक मेरे से चिपक कर डांस कर रहे थे मुझे भी मजा आ रहा था। सर मुझे किस करते हुए मेरे बूब्स और गांड दबा रहे थे जैक भी मुझे किस करते हुए मेरे बूब्स गांड दबा रहा था। फिर सर ने अपने कपड़े उतारने लगे और नंगे हो गए जैक भी नंगा हो गया उसकी उम्र 55 साल थी और उसका लंड नौ इंच लंबा तीन इंच मोटा था। फिर उन्होंने मुझे भी नंगा होने को कहा तो मैं भी अपने पुरे कपड़े उतार कर नंगी हो गई। फिर मैं बैंड पर बैठ गई सर ने मेरे मुंह में अपना लंड डाल दिया और जैक मेरी चुत चाटने लगा। वो मेरी दोनों टांगें फैलाकर चुत चाट रहा था। सर मेरा सिर अपने लंड पर दबा रहे थे मैं दोनों हाथों से उनका लंड पकड़कर चुस रही थी। मेरी चुत दो बार पानी छोड़ चुकी थी। जैक बैड पर लेट गया और डागी स्टाइल में उसका लंड चुसने लगी रामन सर ने पीछे से मेरी चुत में लंड डाल दिया। मैं जैक का मोटा लंड चुस रही थी और सर मुझे चोद रहे थे वो मेरी गांड पर मारते हुए मुझे चोद रहे थे। जैक - आहहह को आआआ ओओओ आहहह उसे लंड चुसवाने में मजा आ रहा था। पांच मिनट चुदाई के बाद सर ने मेरी चुत में ही स्पर्म गिरा दिया। जैक ने भी मेरी मुंह में स्पर्म गिरा दिया मेरा मुंह जैक के स्पर्म से भर गया वो बोला इसे पी जाओ मैं उसका स्पर्म पी गई। फिर हम बैठकर बातें करने लगे। थोड़ी देर में जैक ने मुझे मिशनरी पोज में लिटा दिया और चोदने लगा उसका लंड बहुत बड़ा था तो मुझे दर्द हो रहा था पर जैक बहुत तेज स्पीड से चुदाई कर रहा था। पांच छः मिनट इस पोजीशन में चोदने के बाद वो नीचे लेट गया मैं उसके लंड पर बैठ गई और चुदवाने लगी रामन सर ने मेरे मुंह में अपना लंड डाल दिया मैं उसका लंड चुसने लगी। थोडी देर बाद जैक ने मुझे डागी स्टाइल में किया और तेजी से चोदने लगा मुझे उसके बड़े लंड के कारण दर्द हो रहा था। रामन सर मेरे मुंह में लंड डालकर मेरे मुंह में लंड को दबा रहे थे। कुछ देर बाद जैक ने मेरी चुत में स्पर्म गिरा दिया तो रामन सर ने मेरे मुंह से लंड निकालकर चुत में डाल दिया और चोदने लगे तीन चार मिनट बाद उन्होंने भी मेरी चुत में स्पर्म गिरा दिया मेरी चुत स्पर्म से भर गई थी जब मैं खड़ी हुई तो उनका स्पर्म मेरी चुत से बाहर आने लगा मैं बाथरुम गई और स्पर्म साफ करके आई। फिर हमने चाकलेट खाई और रामन सर बोले कि आज तुम्हें मजा आ गया मैंने कहा सर मुझे दर्द भी हो रहा हैं। वो बोले दर्द में मजा भी आता हैं। थोड़ी देर बाद सर बैड पर लेट गए और मुझे अपने लंड पर बैठा दिया जैक ने मेरी गांड पर क्रीम लगाई और अपने लंड पर क्रीम लगाकर मेरी गांड में डाल दिया मुझे बहुत दर्द होने लगा तो वह कुछ देर रुका फिर अंदर बाहर करने लगा। रामन सर नीचे से चुत में धक्के लगा रहा था। कुछ देर बाद जैक ने मुझे गोद में उठाया और सामने से खड़े खड़े मेरी चुत में लंड डालकर चोदने लगा इस पोजीशन में मुझे बहुत मजा आ रहा था। कुछ देर बाद उसने मुझे घोड़ी बना दिया और पीछे से चोदने लगा वो मेरी कमर पकड़ कर तेज स्पीड से चोद रहा था और रामन सर बैड कर बैठकर मुझे अपना लंड मुंह में देकर चुसवा रहे थे जैक मेरी गांड पर मार रहा था और मुझे बहुत दर्द हो रहा था। इस तरह दस मिनट की लगातार चुदाई के बाद जैक ने मेरी चुत में स्पर्म गिरा दिया और रामन सर ने मेरे मुंह में स्पर्म गिरा दिया मैं उनका स्पर्म पी गई। फिर हम तीनों बैंड पर लेट गए और हमें नींद आ गई शाम को पांच बजे हम उठे। जैक ने मुझे गोद में उठाया और रामन सर ने मेरी चुत में लंड डाल दिया और जैक ने खड़े खड़े मेरी गांड में लंड डाल दिया वो मुझे खड़े खड़े चोद रहे थे मेरी चुत और गांड में दो लंड एक साथ घुस रहे थे। पन्द्रह मिनट तक चोदने के बाद उन्होंने मुझे ज़मीन पर बैठाया और मेरे मुंह पर अपना स्पर्म गिरा दिया। फिर मैं नहाने चली गई जैक और रामन सर भी मेरे साथ बाथरुम में आ गए नहाने के बाद मैं टावल में बैडरुम में आ गई। जैक ने कहा एक बार और चोदना है मैंने कहा मेरे हसबैंड आने वाले हैं। वो बोला मुझे चोदना हैं तो मैंने हसबैंड को फोन करके कहा कि आप मेरे लिए शापिंग माल से नाइटी लेकर आना वो मेरे लिए नाइटी लेने के लिए आफिस से शापिंग माल चले गए अब वो दो घंटे बाद आने वाले थे। जैक ने मेरा टावल हटाया और मुझे खड़ी करके आगे से चोदने लगा और रामन सर पीछे से मेरी चुत में लंड डालने लगे अब मेरी टाइट चुत में दो लंड एकसाथ अंदर बाहर हो रहे थे उन्होंने मेरी चुत में क्रीम लगाई और अपने लंड पर भी क्रीम लगाकर तेजी से एकसाथ अंदर बाहर करने लगे दस मिनट तक इस तरह चोदने के बाद जैक ने मुझे बैंड पर डागी स्टाइल में किया और तेज स्पीड से चोदने लगा उसने दस मिनट चोदने के बाद स्पर्म मेरी चुत में गिरा दिया। फिर रामन सर ने भी दस मिनट तक मुझे घोड़ी बनाकर चोदा और मेरी चुत में स्पर्म गिरा दिया। फिर जैक ने मुझे दस लाख रुपये दिए फिर वो दोनों कपड़े पहनकर चले गए। रात में हसबैंड आए तो उन्होंने पूछा क्या हुआ इतना थकी हुई क्यों हो तो मैं बोली कि आज काम ज्यादा था। फिर उस रात मैंने हसबैंड को चोदने नहीं दिया। मेरी चुत और गांड में दर्द हो रहा था। उसके दस दिन बाद मैंने हसबैंड को चोदने दिया। anubabita1@hotmail.com

Antarvasna

आज मैं आपको Antarvasna अपनी पड़ोसन आंटी की चुदाई की कहानी बताता हूँ कि कैसे मुझे एक 37 साल की माल आंटी को चोदने का मौका मिला।

तो अपने लंड को थाम के (अगर पास आपके चूत है तो उसमें ऊँगली डाल के ) तैयार हो जाइये एक हसीं दास्ताँ सुनने के लिए!

यह मेरा वादा है कि आपका लंड माल और आपकी चूत पानी छोड़ देगी, इससे पहले कि मेरी कहानी ख़त्म हो।

मेरे पड़ोस में एक परिवार रहता है जिसमें दो बच्चे, एक अंकल और एक आंटी हैं। अंकल बीएसएनएल में काम करते हैं और आंटी घर पर ही रहती हैं। उनका बड़ा लड़का बाहर नौकरी करता है और छोटा दसवीं में पढ़ता है। हमारे घर इतने पास-पास हैं कि एक छोटा सा बच्चा भी कूद कर हमारी छत से उनकी छत पर जा सकता है।

बात गर्मियों की दोपहर की है जब बाहर गर्म और तेज़ हवा चलने लगी, आंटी ज़ल्दी से उपर आ गई और सुखाये हुए कपड़े वापस नीचे ले जाने लगी ताकि कहीं ऐसा न हो कि कपड़े उड़ जाएँ!
पर आंटी ने जब देखा कि उनकी पैंटी उड़ कर हमारे घर में आ गिरी है, उन्होंने ऊपर से ही मेरी मम्मी को आवाज़ लगाई।

क्योंकि मम्मी उस वक़्त खाना बना रही थी इसलिए उन्होंने मुझे कहा कि मैं ऊपर जा के देखूं कि आंटी क्यों बुला रही हैं।

जैसे ही मैं ऊपर गया, मुझे आंटी की पैंटी दिख गई और मैं जैसे ही आंटी के पास पहुंचा, मैंने उस पैंटी के ऊपर पैर रख दिया और आंटी से अनजान बन कर पूछने लगा- आंटी! क्या बात है, आपने आवाज़ क्यों लगाई?

आंटी अब फंस चुकी थी, पर मरती क्या न करती, बोली- बेटा, मेरा एक कपड़ा तुम्हारी छत पर गिर गया है। ज़रा लौटा दो!

मैंने कहा- कौन सा कपड़ा आंटी जी?

तो वो बोली कि गलती से वो कपड़ा मेरे पैर के नीचे आ गया है। मैंने गलती होने का नाटक किया और बोल पड़ा- सॉरी आंटी जी! मुझे तो दिखा ही नहीं कि आपकी पैंटी यहाँ पर गिरी है।

मैंने पैंटी उठाई और उसे ठीक करने लगा तो आंटी बोली- यह क्या कर रहे हो? ऐसे ही दे दो ज़ल्दी से!

मैंने कहा- कोई बात नहीं आंटी जी! ठीक कर देता हूँ, मेरे से गलती हो गई।

आंटी को जानते हुए देर न लगी कि मेरे मन में क्या है। तो आंटी ने कहा- कपड़े ठीक करने का इतना ही शौक है तो मेरे घर आ जा, वहाँ बहुत बड़ा ढेर है, फिर मन भर के सफाई कर लेना!

मैंने कहा- मुझे कपड़े धोने नहीं आते, मैं तो बस छोटे कपड़े ही धोया करता हूँ!

आंटी ने कहा- छोटे कपड़े ही धो देना, मेरी बहुत मदद हो जायेगी!
मैंने कहा- क्या सचमुच आ जाऊँ?
तो आंटी ने कहा- अभी आ जा!

मैं नीचे आया और मम्मी से बोला कि आंटी का केबल ख़राब है, उन्होंने मुझे कहा है कि मैं ज़रा देख लूं तो क्या पता ठीक हो जाए।

मम्मी को बता कर मैं आंटी के घर चला गया। आंटी ने बिना दुपट्टे के सूट पहना हुआ था और उसकी गांड के दो टुकड़े अलग अलग दिख रहे थे। मेरी समझ में नहीं आ रहा था कि उसकी गांड को देखूं या उसको ब्रा को फाड़ कर बाहर आने को तैयार उसकी चूचियों को देख कर रात की मूठ का इंतज़ाम करूँ।

तभी आंटी पानी ले आई और जैसे ही मैंने पानी लिया, वो मेरी बगल में बैठ कर मेरी पढ़ाई का हाल-चाल पूछने लगी।
मैंने बिना समय बर्बाद करते हुए कहा- आप कपड़े दिखाओ, मुझे और भी बहुत से काम हैं!

शायद आंटी भी बहुत दिनों से लंड के लिए तड़प रही थी, वो बोली- ऊपर के या नीचे के?
मैंने कहा- मैं दोनों काम कर लूँगा!

आंटी ने उसी वक़्त अपना कमीज़ उतार दिया और उनकी ब्रा से बाहर निकलते स्तनों को देख कर मेरा तो लंड खड़ा हो गया।

आंटी ने मेरा हाथ पकड़ कर अपने वक्ष पर रख दिया।
मैंने कहा- आंटी, आपकी चूचियों का आकार क्या है?
तो आंटी बोली- तुझे कितना लगता है?
मैंने तुक्का मार दिया- आंटी, चालीस?

आंटी बोली- लगता है, काफी लड़कियाँ चोद चुका है तू कॉलेज में! तूने तो एकदम सही साइज़ पहचान लिया।

तो मैंने कहा- आंटी, जब रात को कई बार आप कपड़े सुखा के चली जाती हो सोने, तो मैं चुपचाप छत पर जाकर आपकी ब्रा और पैंटी का नम्बर देखता था और आपकी पैंटी को ले जाकर उसमे मुठ मारता था।

आंटी ने मेरे मुँह पर एक थप्पड़ मारा और कहा- साले, कुत्ते, तेरी वज़ह से ही मेरी चूत में खुज़ली होती थी! मैं साफ़ पैंटी सुखा के जाती थी और सुबह उस पर दाग होता था! पर मुझे वही पैंटी पहननी पड़ती थी।

मैंने कहा- आंटी, आज आपकी चूत की सारी खुजली मैं दूर कर दूंगा!

मैंने आंटी को सामने मेज़ पर हाथ रख के कुतिया की तरह झुक जाने को कहा और उसकी सलवार और पैंटी को उतार कर अपनी नाक उसकी गांड में और जीभ उसकी चूत पे लगा दी।
उसकी चूत का स्वाद नमकीन था और मेरा लण्ड अब पूरी तरह तैयार था।

मैंने बिना समय ख़राब किये अपना लंड निकाल कर उस रंडी के मुँह में दे दिया।

5 मिनट की चुसाई के बाद मैंने लण्ड उसके मुँह से निकाल कर उसकी गांड में डाल दिया तो आंटी ने मना कर दिया और कहा- नहीं! डालना है तो चूत में डालो! और कहीं मुझे पसंद नहीं!

आंटी अन्दर कमरे में गई और अंकल का कंडोम ले आई और बोली- पिछले दो महीने से उस नामर्द ने यह तीन कंडोम का पैक ला के रखा है और अभी तक सिर्फ एक ही इस्तेमाल किया।

मैंने पूछा- पानी पियोगी या चूत में लोगी?

आंटी बोली- कुत्ते! चूत में डाल तो सही! लंड पानी तो बाद की बात है! कहीं तू भी उस नामर्द अंकल की तरह चूत के बाहर ही तो पानी नहीं छोड़ता?

अब मेरे अंदर का मर्द जाग गया और मैंने कहा- साली, रंडी, कुतिया! ले देख मर्द का लंड किसे कहते हैं!

उसकी बारह मिनट की चुदाई के बाद वो झड़ गई तो मैंने उसकी चूत से लण्ड निकाल कर सारा पानी उसके मुँह में डाल दिया और उस कुतिया को जबरदस्ती वो पानी पिलाया। अब हम दोनों थक कर बेड पर लेट गए।

मैंने अचानक आंटी से पूछा- अंकल को क्या कहोगी कि दूसरा कंडोम कहा गया?

आंटी बोली- मैं कहूँगी कि मैंने दोनों कंडोम बाहर फेंक दिए!
मैंने कहा- दोनों??

तो आंटी दूसरा कंडोम एक हाथ में लिए हुए मेरा लण्ड सहलाने लगी और बोली- गांड मरवा कर भी देख ही लेती हूँ!
…आह आह आह आह आह आह आह फच्च फच्च पिच पिच Antarvasna

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