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Massage Girl in Guwahati: Premium Relaxation Services

Our site can help you find a professional massage girl in Guwahati who will help you relax in the best manner possible. We connect you with professional therapists who can offer you a massage that will make you feel better and more relaxed. The pros on our list are ready to provide you with a fantastic experience at your house or in one of their particular spots, whether you want to relax or get away from it all.

Introduction

Massage is currently one of the finest methods to relax your mind, body, and overall health. Our website makes it easy to locate the top massage services in Guwahati that meet your demands. This will be a one-of-a-kind and calming experience for you.

Tottaa wants to make it simple for clients to find the top masseuse. The Guwahati massage service providers on our list offer the greatest quality, comfort, and competence, whether you want a full-body massage or a massage for a particular location.

How Tottaa Helps Advertisers Reach More Customers

Tottaa is not only a list of masseuses, it’s also a secure location for them to show off what they can do. People in Guwahati who are seeking massage services may find them on our website. This makes them easier to find and gets them more appointments.

Advertisers may simply put up profiles, offer their services, and talk about pricing and discounts on our sites. This makes sure that the relevant people notice your Guwahati massage service, which makes it easier to obtain more customers.

Different Types of Massages We Offer

There are a lot of different types of massage services on our site, so you may choose one that works for you. You may choose the kind of treatment that works best for you, whether it’s profound rest or a particular type of therapy.

1. Swedish Massage

A calm and gentle way to ease muscular tension and improve blood flow. This Guwahati massage is perfect for you if you want to relax and forget about your concerns.

2. Deep Tissue Massage

This approach employs a lot of pressure to get to deeper muscle layers. It’s helpful for folks who have muscular discomfort or stiffness that won’t go away. There are specialists on our profiles of massage girls in Guwahati who are good at deep tissue treatments that function effectively.

3. Aromatherapy Massage

Calming massage strokes and essential oils are beneficial in making people feel improved both emotionally and physically. Most massage companies in Guwahati employ the use of custom oil preparations to make you feel good.

4. Thai Massage

A therapy that wakes you up by using a mix of regular massage, stretching, and compression. This traditional massage in Guwahati helps you relax, become more flexible, and get your mind and body back in harmony.

5. Hot Stone Massage

Heated stones are placed on various parts of the body to help with deep muscular tightness. People who want to feel good, relax, and help their muscles recover quickly can use this massage service in Guwahati

How to Book Our Massage Services

Tottaa makes it simple and fast to book. With our listings, you can see what kind of massage you want, read about the providers, see that they are free and then contact them directly. After you choose, you can book a massage in Guwahati at your convenient time and location. In order to get your desired massage services, apply the following simple steps:

Step 1: Browse Our Listings

Take a peek around our site to view a few massage professionals. Each listing gives you information about the many sorts of massages, how long they last, how much they cost, and where they are situated. This makes it easier to choose the finest ones.

Step 2: Compare and Shortlist

Examine the profiles carefully to compare how the services, talents, and reviews posted by customers differ. This phase makes sure you choose a business that has the style, pricing, and supply you desire.

Step 3: Connect with the Provider

When you have decided, use the information that you are offered so that you can contact them directly. One can communicate it to the massage giver thus making it understood what massage you want at what time and when.

Step 4: Confirm the Appointment

The date, time and place of the service, which could be your home, a hotel or the spa where the therapist may be found. You also need to agree on the payment method and any other accords prior to commencement of the course.

Step 5: Relax and Enjoy Your Massage

All you have to do on the day of the appointment is have your area ready for the house visit. The remainder will be handled by the expert. Take it easy and enjoy a massage that is made just for you.

Frequently Asked Questions

To locate a professional who can meet your needs, read our biography, reviews and advertising.

Yes, many of the therapists on our site will come to your house so you may feel safe and at ease.

You may pick based on talents since most adverts provide their qualifications in their profiles.

It would be advisable to make a reservation earlier to guarantee that you would be able to get a massage, particularly against the prevalent services of massage.

Not at all. Tottaa exclusively connects users with service providers. The doctor gets to choose how to handle payment.

Read Our Top Call Girl Story's

Sex Stories

दोस्तों मैं आप को एक सेक्सी Sex Stories बातचीत बताता हूँ।इसे पढ़कर आदमी का लंड चूत के लिए और औरत की चूत लंड के लिए बेताब हो जायेगी !

तो पेश है :

हाय

बोलिए

कैसे हैं आप !

ठीक हूँ और तुम ?

ठीक

क्या चल रहा है ?

बस ठीक कट रही हैं

लंड खड़ा हो गया तुझे ओन लाइन देख के

अच्छा इतनी जल्दी

इसका मतलब आप के लिए बहुत हॉट पिक हूँ मैं

हाँ यार बहुत दिन बाद मिली न

हा यार

अच्छा, फिर आज कुछ मूड है कि नहीं

गांड मारनी है या चूत ?

दोनों

पहले क्या ?

आप का जो भी मन हो वो मार लो

एक साथ मारनी हो तो दो लोग लगेंगे

नहीं आप से ही मरवानी है और से नहीं

अच्छा क्या पहना है

मिनी स्कर्ट और टॉप पहना हैं, पैंटी और ब्रा भी हैं ब्लैक कलर की

मैंने पैन्ट और टी-शर्ट

अब एक दूसरे को किस करतें हैं और एक एक करके

कपड़े उतारते हैं

टी-शर्ट उतारो,

ओके आप भी हेल्प करो

अब मैं तुम्हारी टॉप

वो क्या साइज़ हैं बॉडी का बताओ जरा

बूब्स ३४ कमर ३० और हिप्स ३४

जान खुलकर बोल तभी मजा आयगा

बोल मेरी चूची ३४ , कमर ३० और गांड ३४

अच्छा अब जींस उतार दो

आप का लंड साइज़ क्या हैं

८.२ इंच लंबा हैं और २.१ इंच मोटा हैं

लंबा बहुत हैं

हां

जान

डरो नहीं तुम्हारे चूत इसी पूरा ले लेगी

बहुत डर लग रहा हैं

नहीं मेरी तो बहुत टाइट और छोटी हैं

जान क्या ये तुम पहली बार चुदने वाली हो

फट गई तो

नहीं पहले एक बार शुरुआत की थी पर ठीक से नहीं चुदवाई

अच्छा वो क्यूँ

उससे छोड़ो आप आगे बोलो

जान शुरू में तो थोड़ा दर्द होगा

लेकिन फ़िर मज़ा आएगा

अच्छा

जान तुम्हारी चूत पर बाल हैं क्या

या थोड़े थोड़े हैं और आपके लिए क्लीन शेव की हैं

तुम पूरा मुँह में ले लोगी

अच्छा चलो कोशिश कर लो

तुम्हारी चूत पर कुछ तेल /क्रीम लगा लेते हैं

तेल लगा लेने से आसानी से चूत में चला जाएगा

और तुम्हें दर्द भी कम होगा

अच्छा

हाथ में लो लंड को

अच्छा ले लिया बहुत हॉट हैं और टाइट भी रोड के जैसा

हम्म

अब पकड़ने से कुछ डर कम हुआ

अब आप ऐसे ही पैंटी के ऊपर से मेरी जांघों और चूत पर हाथ फेर रहे हो

मैं इसको किस कर लूँ , देख कर बहुत मन हो रहा हैं

एकदम अखरोट के जैसा

हाँ किस करो, और फिर इसे मुंह में लो जान

बहुत मोटा हैं मुंह में नहीं आ रहा

थोड़ा मुंह और खोलकर ट्राई करो जान, आ जायगा

जितना आ रहा है लो

पौचा पौच

कितना आ गया है

ऊई माँ ये तो किस करने से और मुंह में चूसने से और मोटा लंबा हो रहा है

अब मैंने तुम्हारे बालों को पीछे की तरफ़ से जोर से पकड़ लिया है

और अब अचानक मैंने एक ज़ोरदार झटके के साथ पूरा लंड तु्म्हारे मुंह में दे दिया

अह्हा मर गई ऐसे नहीं धीरे धीरे

तुम्हारी आवाज़ भी तुम्हारे मुंह में ही रह गई

रुको थोड़ी देर साँस लेने दो

आइस क्रीम लगा के चाटेगी ?

नहीं चोकलेट

कौन सा फ़्लेवर पसंद है

अब लंड पर चोकलेट लगा दी है चाट ले पूरी

अब मैं तुम्हारे मुंह में लंड को अंदर बाहर कर रहा हूँ

अह्हा अब अच्छा लग रहा हैं

हम्म्म ऐसे ही करते रहो

कैसा लग रहा है

अहा अब अच्छा लग रहा हैं

और अब मैं तुम्हारी चूत और गांड में ऊँगली कर रहा हूँ

पहले थोड़ी देर ऐसे ही पूरा बदन मसलो

और अपना बदन भी रगड़वाओ

अच्छा अब अपनी चूत तो चटा, मुझको बहुत बेचैन कर रखा हैं इसने

हम्म चाट लो पर मैं भी आपका लंड चूसूंगी

तो ठीक है, लेट जा, मेरे लंड को मुँह में लेकर और में तेरी चूत चाटता हूँ

हम्म बहुत गुलाबी और उभरी हुई हैं जान तेरी चूत इसे मारने में बहुत मजा आयगा

प्लीज़ यार ऐसे मत बोलो मुझे शर्म आती हैं

चल ठीक हैं अब लंड डालता हूँ तेरी चूत में

बहुत गीली हो गई हैं चाटने से अब लंड भी आराम से जाएगा

गई अरी चिल्ला मत

उम् मर गयीईइ

रुको बहुत दर्द हो रहा हैं, रुक गया अब तेरे लिप्स चूस रहा हूँ

तेरे बूब्स दबा रहा हूँ

इससे दर्द कम हो जाएगा

अच्छा फिर

और फिर एक और झटके में लंड पूरा तेरी चूत में अन्दर गया

प्लीज़ रुको, मर गयी ई ओह ऊई, फट गयी ई

फिर थोड़ी देर तू अपने आप गांड हिलाने लगी जब दर्द कम हो गया

मस्ती में चुदा

मजा ले ले के

अब बोल मैं अपनी चूत मरा रही हूँ

मजा आ रहा है

हम्म्म पूरा पूरा जन्नत का

तुझे तो एक साथ तीन लंड चाहियें

नही यार ऐसे मत बोल

पहले बहुत दर्द हुआ था

आप की खुशी के लिए सहन कर रही थी

अच्छा फिर

मार घच घच

अब मेरा पानी निकलने वाला है

मैं झरने वाली हूँ

तेरे मुंह से लंड की गंध आ रही है

लौड़े का टेस्ट आ रहा है

हम्म तो चाट लो दोनों को अच्छा लगा

अपनी चूत का रस चूस न मेरे मुंह से

हाँ बहुत अच्छा लग रहा है

दोस्तो ! मैं आशा करता हूँ कि आपको यह बात-चीत पसन्द आई होगी, मुझे मेल करें Sex Stories

Antarvasna Stories

मेरे प्यारे Antarvasna Stories दोस्तो, मैं एक बार फिर हाजिर हूँ अपना 7 इंच का लंड लेकर छवि की चुदाई करने!

जैसा कि आप सभी मेरी पिछली कहानी
आंटी और उनकी छवि
से जानते हैं कि मैं छवि की माँ चंदा की चुदाई पहले ही कर चुका हूँ और चंदा भी मुझसे हर दूसरे या तीसरे दिन चुदवाती रहती है, साथ में मेरी जेब भी गरम करती है तो मुझे और क्या चाहिए! एक नियमित ग्राहक का ध्यान रखते हुए मुझे भी उसके फोन का इंतजार रहता है कि कब चंदा डार्लिंग का फोन आये और मैं उसका चूत-मर्दन कर सकूँ।

एक रोज मुझे कोई काम नहीं था था और घर पर बैठ कर चाय पी रहा था कि चंदा का फोन आया- आज चुदवाने का दिल कर रहा है! लेकिन आज बेटी छवि हॉस्टल से आने वाली है!
मैं मन ही मन खुश हुआ कि आज चंदा के साथ छवि की चूत के भी दर्शन होंगे।
लेकिन चंदा ने बताया कि वो मुझसे चुदवाती है, यह बात छवि को पता नहीं चलना चाहिए।

मैं अपना दिमाग चलाने लगा कि किस तरह टांका फिट करूँ कि सांप भी मर जाये और लाठी भी न टूटे!
मैं चंदा को नाराज कर अपना एक पार्टी भी नहीं तोड़ना चाहता था और छवि को भी चोदना था।

एकदम से मेरे दिमाग में एक आईडिया आया कि क्यों न चंदा को रात में दस बजे के बाद चुदाई करूँ जिससे छवि को भी चोदने का मौका मिल जायेगा। मैंने चंदा को कहा कि मैं रात को आ सकता हूँ तो वो थोड़ा सकपका गई लेकिन तुंरत मान गई। अब मैं मन ही मन खुश था कि छवि की चुदाई भी करूँगा।

रात साढ़े नौ बजे मैं उसके घर पर गया तो पता चला कि छवि आ गई है और अपने कमरे में आराम कर रही है। छवि का कमरा ऊपर वाली मंजिल पर था और हम चुदाई का कार्य क्रम नीचे ही करते थे। चंदा अब आराम से चुदवाने के मूड में थी जबकि मैं छवि को चोदने के बारे में ही सोच रहा था कि चंदा ने व्हिस्की का पैग बना कर मेरे आगे रख दिया। उसे पता था कि मेरा चुदाई का प्रोग्राम कैसे होता है।

हम दारू की चुस्की लेते हुए एक दूसरे के होंठ पी रहे थे और मैं उसकी चूचियों को मसल रहा था और वो मेरे लंड को पी रही थी। एक एक कर हमारे कपड़े हमसे अलग हो चुके थे और हम दोनों एक दूसरे की बाँहों में चूमा-चाटी कर रहे थे। काफी देर तक हमारा यही प्रोग्राम चलता रहा। अब चुदाई करने का समय था और मैं इसे जल्दी जल्दी पूरा करना चाहता था लेकिन चंदा अपनी ही चाल से चल रही थी, उसे कोई जल्दी नहीं थी। उसे क्या पता कि मैं आज उसकी बेटी को भी चोदने का मूड बना चुका हूँ।

खैर काफी देर तक चंदा मेरे साथ 69 पोज में मेरे लंड को चूसती रही। कभी मेरे लंड का सुपारा होठों से दबा कर तो कभी जीभ से सहला कर मजे ले रही थी। मुझे बड़ा मजा आ रहा था। मैं भी उसकी चूत की भगनासा को तो कभी चूत के दोनों होंठ चाट रहा था जिससे उसे भी मजा आ रहा था और उसके मुँह से सिसकारी निकल रही थी- ओह… ओह… अह… अह…
यही हाल मेरा भी था- ओह… ओह… अह… अह…

एक घंटे के बाद मैंने उसकी जांघों को चौड़ा कर अपना 7 इंच का लंड उसमें डाल दिया जिसे उसने बड़े मजे से पेलवा लिया। अब हम ताबड़-तोड़ चुदाई का मजा ले रहे थे। जोश में हमें पता ही नहीं चला कि हमारे मुँह से निकलने वाली आवाज़ पूरे घर में गूंज रही है। सारा काम मेरी मन के मुताबिक ही हो रहा था, मैं यही तो चाहता था कि हमारी चुदाई की सेक्सी आवाजें किसी तरह छवि के कानों में पहुंचे और ऐसा ही हुआ।

मैं और चंदा दोनों एक साथ ही अपनी मंजिल पर पहुँच गए, मेरे वीर्य से उसकी चूत भर गई। काफी देर तक हम एक दूसरे से चिपके हुए रहे। फिर अलग हुए तो मन में एक डर सा आ गया कि लग रहा है कि अब छवि मैं नहीं चोद पाउँगा।

भारी मन से वापिस घर के लिए निकला मेरे साथ चंदा भी मुझे गाड़ी तक छोड़ने आई। गाड़ी की हालत देखी तो मैं चौंक गया- मेरे गाड़ी के दो चक्के की हवा निकल गई थी। और रात के एक बजे कंहीं पर भी ठीक नहीं हो सकती थी। अब चंदा न चाहते हुए बोली- तुम यहीं पर रुक जाओ! कल सुबह गाड़ी ठीक करवा कर जाना।

हम सोने चल दिए, चंदा अपने कमरे में चली गई। वो भी ऊपरी मंजिल पर ही था।

मै नीचे ही सो गया, यह सोच कर कि छवि तो अपने कमरे को बंद कर सो रही होगी और मैं उसके घर में जबरदस्ती उसे चोद भी नहीं सकता।

अभी आँख लगने ही वाली थी कि मुझे लगा कि कोई मेरा लंड चूस रहा है। फिर दिमाग में आया कि यह सपना हो सकता है क्योंकि इस वक्त कौन मेरा लंड चूसेगा।

लेकिन थोड़ी देर में ही पता चल गया कि छवि मेरा लंड पी रही थी। मैं एकदम घबराकर उठ बैठा। तभी छवि ने मुझे चुप रहने का इशारा किया और उठ कर अपने कमरे में चल दी, मैं भी उसके पीछे पीछे…

वहाँ जाकर छवि ने बताया कि उसने मेरी और चंदा की चुदाई का लाइव मैच देखा है, तब से उसे भी चुदवाने का मन कर रहा है।

मैं भी यही चाहता था। मैंने चंदा के बारे में पूछा तो वो बोली- मम्मी तो दारू पीने के बाद गहरी नींद में सो रही है और उसे सुबह से पहले होश नहीं आयेगा।

मैं अब निश्चिंत हुआ कि अब आराम से छवि की चुदाई करूँगा।

बातों-बातों में छवि ने बताया कि वो कालेज में कई बार ब्लू फिल्म देख चुकी है लेकिन किसी चुदाई नहीं कराई है। फिल्म देखने के बाद जब गरम होती है तो लड़कियाँ आपस में ही चूमा-चाटी कर लेती हैं लेकिन लंड का स्वाद आज तक उसे नहीं मिला है। हाँ वो जब गरम होती है तो ऊँगली से चूत को जरुर ठंडा कर लेती है।

फिर मैं बोला- तब तो और मजा आयेगा! काफी दिनों के बाद कुवांरी चूत की सील तोड़ने का मौका मिलेगा। मैं बिना किसी तरह समय बिताये सीधे अपने मुद्दे पर आ गया, उसे पकड़ कर अपनी जान्घों पर बैठा लिया। वो निकर और ढीला सा टॉप पहने थी। अपने दोनों हाथों से उसकी चूचियों को दबाने लगा तो छवि बोली- आराम से करो! मैं कहाँ भागी जा रही हूँ!

जिसे सुन कर मेरा जोश दुगुना हो गया। अब मैंने धीरे धीरे उसके टॉप को निकाल बाहर किया। उसकी चूचियों को तो मैं देखता ही रह गया क्योंकि आज तक इतनी गोरी और कसी हुई चूचियाँ मैंने नहीं देखी थी। मैं समझ गया कि माल एक दम ताज़ा है। अब मेरे होंठ उसके स्तनाग्र चूस रहे थे, वो मजे से अपनी आँख बंद कर अपना दूध पिला रही थी। एक के बाद एक दोनों चूचियों को काफी देर तक पीता रहा। उसकी निकर को निकाल कर अलग कर दिया, अब वो केवल चड्डी में थी। मेरा लंड तो कब से खड़ा था। मैंने ऊँगली फंसा कर उसकी चड्डी को भी अलग कर दिया। उसकी बुर पर एक भी बाल नहीं था। एकदम संगमरमर सा उसका बदन देख मेरा मन में तो आग लग गई।

अब उसे झुका कर अपना 7 इंच का लंड उसके मुँह में पेल दिया जिसे वो लॉलीपाप की तरह चूसने लगी। लेकिन मैं 15 मिनट में ही उसके मुँह में झड़ गया और उसका मुँह मेरे वीर्य से भर गया। जिसे वो चटकारे लेकर पी गई। लेकिन उसके हुस्न को सामने पाकर मैं 5 मिनट में ही दोबारा तैयार हो गया। अब हम 69 पोज में आकर वो मेरे लंड को और मैं उसकी चूत को चूसने-पीने लगे। बीच-बीच में मैं अपनी उंगली से चूत के छेद का जायजा लेता रहा।

अब उसे लिटा कर मैं उसकी जांघों के बीच में आ गया।

चूंकि छवि पहली बार चुदा रही थी तो थोड़ा आराम से ही चोदना था, वरना वो चुदवाने से तौबा कर लेती।

अब उसकी बुर के छेद पर ढेर सारा थूक लगा कर धीरे धीरे पेलना चालू किया। जैसे ही लंड का मुंड अंदर गया, छवि को दर्द होने लगा, वो चिल्लाने लगी, साथ कुछ गाली भी दे रही थी। मैंने तुरंत अपने लंड को बाहर निकाल लिया। उसे ग्लास में पानी पिलाया तो थोड़ा रिलेक्स हुई। अब वो फिर हिम्मत करके तैयार थी चुदवाने के लिए!

इस बार और ज्यादा थूक लगा पर मैंने पेलना शुरु किया। एक झटके में आधा लण्ड उसकी बुर में था और वो दर्द से अपने पांव पटक रही थी। मैं आधे लंड को ही आगे पीछे करने लगा और छवि सामान्य हो गई। अब आगे की बारी थी, अगले एक झटके में पूरा लंड उसकी चूत में था। वो चिल्लाना चाह रही थी लेकिन मैंने उसका मुँह अपने होठों से बंद कर दिया था। थोड़ी देर रुकने के बाद मैं धीरे धीरे लंड आगे पीछे करने लगा जिसे वो भी मजे लेने लगी और मेरा साथ देने लगी।

अब छवि के मुख से सेक्सी आवाज़ें निकल रही थी …वोह…आह…और जोर से… मेरी चूत को फाड़ डालो… आह… आऽऽऽ.. जोर से पेलो…वोह… आह… मेरे राजा और जोर से पेलो…
बहुत देर तक चुदाई चली… हम दोनों अपनी मंजिल पर एक साथ पहुँच गए.

छवि का शरीर अकड़ने लगा, मैं समझ गया कि ये साली अब झड़ने वाली है, मैंने भी अपनी स्पीड बढ़ा दी। दोनों ने एक दूसरे को अपनी बांहों में जोर से जकड़ लिया। इसके साथ ही छवि की चूत मेरे वीर्य से लबालब हो गई। हम दोनों एक दूसरे से चिपके रहे। जब अलग हुए तो मैंने घड़ी पर नजर डाली, उस समय सुबह के पाँच बज रहे थे। इसका मतलब मैं आज पूरी रात माँ बेटी को चोदने में निकाल गया था, लेकिन दिल में शांति थी कि आज छवि की चुदाई की थी।जल्दी-जल्दी मैं निकल कर अपने जगह पर आ कर सो गया लेकिन छवि का मोबाइल नम्बर लेकर!
कब आँख लगी पता नहीं चला!

जब उठा तो देखा कि चंदा मुझे जगा रही थी और सामने चाय का कप रखा था। उसी समय छवि ऊपर से उतर कर चंदा से पूछ रही थी- मम्मा! ये कौन हैं?
मैं भी मुस्कुराये बिने न रह सका।

दोस्तो, यह थी छवि की चुदाई!
मेरी अगली कहानी पढ़िये- अब मैंने छवि की गांड मारी
आप अपनी राय और सुझाव जरूर भेजें। Antarvasna Stories

Hindi Sex Stories

दोस्तों मेरा नाम रॉकी Hindi Sex Stories है, दिल्ली का रहने वाला हूँ। मैं आपके सामने एक घटना बताने जा रहा हूँ जो मेरे साथ घटी है, यह सब मुझसे गलती से हुआ था।

मेरे पड़ोस में एक परिवार रहता था, जिसमें दो लड़कियाँ और एक लड़का था। दोनों लड़कियाँ लड़के से बड़ी थी, बड़ी वाली का नाम स्नेहा था। यह कहानी उसके और मेरे बारे में है।

अब मैं थोड़ा स्नेहा के बारे में बताता हूँ, वो लड़की एक दम गोरी थी, उसके आँखें नीली थी और होंठ गुलाबी ! उसका फिगर तो पूरा मस्त था यारो ! 36-26-36, और सबसे बड़ी बात वो मुझसे दो साल बड़ी थी। पर बड़ी लड़की के साथ ही सेक्स करने में मज़े आते हैं।

हम दोनों दस सालों से दोस्त थे मतलब बचपन से ही जब वो गयारह साल की थी और मैं नौ साल का ! और आज वो इक्कीस साल की है और मैं उन्नीस साल का और मेरा लंड 7″ लम्बा और 4″ मोटा है।

अब मैं आगे बताता हूँ-

हुआ ऐसे कि मेरे बड़े भाई की शादी हो रही थी तो उनके पूरे परिवार को भी आना था, इसलिए मम्मी ने स्नेहा को बुला लिया था काम करवाने के लिए।

सर्दियों के दिन थे, एक रात को उसने नीली जींस और गुलाबी टॉप पहना हुआ था, बहुत मस्त लग रही थी। हम दोनों एक ही रजाई में बैठे थे और स्नेहा मेरे मोबाइल में वीडियो गाने देख रही थी तो समय बिताने के लिए मैं भी देखने लगा उसके साथ।

अचानक मेरे मोबाइल में अगले वीडियो के बाद ब्लू फिल्म की क्लिप्पिंग शुरू हो गयी और मुझे डर लगने लगा कि कहीं यह अब मम्मी से न बोल दे।

मैंने उससे मोबाइल माँगा बंद करने के लिए पर उसने कहा- चलने दो ! अच्छा लग रहा है !

और मुझे क्या चाहिए था ! मैं खुश हो गया कि चलो आज काम बन जायेगा !

पर एक दो क्लिप्पिंग देखने के बाद मेरा भाई आकर मोबाइल ले गया। अब मैं अपनी किस्मत को गाली दे रहा था फिर हम दोनों लेट गए और करीब पन्द्रह मिनट बाद मैंने डरते हुए अपना एक पैर उसके पैर से लगाया। उसने कुछ नही बोला। फिर धीरे-धीरे मैंने अपना एक हाथ उसके चूचों पर लगा दिया और दूसरे हाथ से उसकी गर्दन पकड़ कर अपने होंठ उसके होंठों पर रख कर चूमने लगा। बहुत मीठे होंठ थे यारो उसके !

फिर मैंने उसका टॉप कमर पर से पकड़ कर ऊपर दिया क्योंकि उतारने में डर था कि कोई आ न जाए ! फिर मैंने अपने होंठ उसके चूचों पर लगा कर उन्हें चूसने लगा। और चूसते-2 मैंने अपने एक हाथ से उसके जींस की बटन खोल कर उसका जींस घुटनों तक कर दिया और उसकी पैंटी के ऊपर से ही उसकी चूत को रगड़ने लगा। उसकी पैंटी पूरी गीली हो चुकी थी। फिर मैंने अपनी एक ऊँगली उसकी चूत के अन्दर डाल दी।

वो धीरे से चिल्ला पड़ी, बोलने लगी- लग रही है !

मैंने कहा- जान, अभी तो ऊँगली ही गई है, जब यह व्हार इन्च मोटा जायेगा तो क्या करोगी ?

वो मेरी इस बात से डरने लगी।

मैंने उससे कहा- डरो मत ! मैं दर्द नहीं होने दूंगा।

फिर मैंने उसके चूचों को चूसते हुए अपनी जींस भी उतार दी और उसका हाथ ले कर अपने लंड पर रख दिया।

वो बोली- रोक्स, बहुत मोटा और लम्बा है !

मैंने कहा- जान, तभी तो मज़ा आएगा !

और मैंने फिर उसको कमर से पकड़ कर अपने पेट से लगा लिया जिसकी वजह से मेरा लंड उसकी चूत को छूने लगा। और फिर मैंने उसकी पैंटी नीचे करके अपना लंड उसकी चूत में डालने लगा। दोस्तो, आप सोच सकते हो जींस घुटने तक उतर कर कोई कैसे ये काम कर सकता है मैं उसके पैरों के बीच मैं आ गया जिसकी वजह से मेरे लंड का निशाना सीधे उसकी चूत हो गई। फिर मैंने अपने लंड को उसकी चूत पर रख कर एक हल्का सा झटका मारा जिसकी वजह से वो दर्द की वजह से चीखने वाली थी पर नही चिल्लाई। फिर मैंने उसके मुँह पर हाथ रख कर एक ऐसा झटका दिया कि मेरा लंड पाँच इन्च तक चला गया और फिर वो मेरा हाथ अपने मुँह से हटाने की कोशिश करने लगी पर मैंने नहीं हटाया। और फिर मैं पाँच मिनट तक ऐसे ही रहा। जब लगा कि वो अब ठीक है, तब मैंने धीरे आगे-पीछे करना चालू कर दिया जिसकी वजह से स्नेहा को भी मज़े आने लगे।

मैंने कहा- जान, एक बार और सम्भाल लेना !

और मैंने एक और झटका दिया और मेरा पूरा लंड उसकी चूत में चला गया और वो फिर दर्द से तड़पने लगी पर थोड़ी देर बाद वो ठीक हो गई और मेरा साथ देने लगी।

फिर मैं उसी अवस्था में उसको झटके मारने लगा और वो भी मेरा साथ देने लगी। करीब दस मिनट बाद वो हड़ गई पर मैं अभी भी चालू था ।

वो बोली- तुम कब तक करोगे?

मैंने कहा- जान, मैं थोड़ा ज्यादा समय लेता हूँ !

और करीब 15 मिनट बाद मैंने उसकी जांघों पर वीर्यपात कर दिया और फिर मैंने उसको एक लम्बा चुम्बन दिया और फिर हमने अपने कपड़े ठीक किये पर उसने मेरा लंड नही छोड़ा और बोली- तुम्हारा लंड बहुत दमदार और अच्छा है।

दोस्तो, मेरे लंड पर वो फ़िदा हो गई। Hindi Sex Stories

नमस्ते पाठको,Antarvasna

मेरा नाम अमन है। मैं बचपन से दिल्ली Antarvasna में रह रहा हूँ। जब से मुझे सेक्स की जानकारी हुई, तब से मैं बस सेक्स के बारे में ही सोचता रहता हूँ। विशेषकर मुझे विवाहित स्त्रियाँ अधिक पसन्द हैं, साथ ही मोटी स्त्रियाँ भी। मेरा लंड ८ इंच लम्बा व ३ इंच मोटा है।

मैं इन्टरनेट पर चैट रूम में एक समलैंगिक रूम में हमेशा एक स्त्री के नाम से चैट करता और पूरा मज़ा लेता। एक दिन मेरी बात ग्रेटर कैलाश में रहने वाली गौरी नाम की महिला से हुई। एक दूसरे की जानकारी लेने के बाद हम सीधा सेक्स की बात पर आ गए। उसने बताया कि उसके पति अक्सर बाहर रहते हैं। उसको जब भी अवसर प्राप्त होता है तो वह अपने कामवाली बाई के साथ समलैंगिक सहवास करती है। मैं भी उससे स्त्री बनकर ही बात कर रहा था।

मैंने उससे कहा, “आप किसी लड़के को क्यों नहीं तलाश करतीं?”

“मैं कुछ लड़कों को जानती हूँ, जो सेक्स-जॉब करते हैं।” – मैंने उसे आगे बताया

गौरी ने कहा, “क्या वो मेरी गाँड भी चाटेगा?”

“सब कुछ करेगा, जो कुछ तुम करवाना चाहोगी, और उसकी शुल्क भी अधिक नहीं है।” – मैंने उसे जानकारी दी।

मेरे मन में लड्डू फूट रहे थे, मेरी बात बनती नज़र आ रही थी। मैंने गौरी को टेलीफोन नम्बर दिया, और कहा कि यह उसका नम्बर है, और उसका नाम अमन है। तुम उससे बात कर लो, मैं भी उससे बात करके तुम्हारे बारे में बता दूँगी। असल में अमन तो मैं ही था।

चैट के लगभग एक घण्टे के बाद उस स्त्री का फ़ोन आ गया। उसने मेरा नाम पूछा, और अपना नाम बताया। उसने कहा कि आपका नम्बर मुझे एक औरत ने दिया है। वो तो मैं ही था, तो मैं समझ गया।

मैंने पूछा, “तो फिर कब आऊँ आपके पास?”

कल दिन में ११ बजे आ जाओ।

मैंने कहा, “ठीक है।”

क्या बताऊँ दोस्तों, वह आधा दिन काटना मेरे लिए पहाड़ जैसा प्रतीत हुआ, बस मैं तो यही सोचता रहा कि ये करूँगा, वो करूँगा, और ये सब सोच-सोचकर मैंने उस औरत के नाम से दो बार मुट्ठ भी मार ली।

अगले दिन ठीक ११ बजे मैं उसके घर पहुँच गया। मैंने घंटी बजाई, दरवाजा खुला, और लगभग ३५ वर्ष की एक गोरी स्त्री ने दरवाजा खोला। मैंने उसे बताया, “मैं अमन…”। उसने अन्दर आने को कहा।

मैं जैसे ही अन्दर घुसा, उसने दरवाजा बन्द कर लिया, और सीधे शयनकक्ष में ले गई और कहा, तुम ५ मिनट यहीं रुको, मैं अभी आई। ५ मिनटों को बाद जब वह वापस आई तो मैं उसे बस देखता ही रह गया। वह गुलाब़ी रंग की ब्रा और पैन्टी पहने हुए मेरे सामने थी। थोड़ी देर के लिए तो मैं बिल्कुल सुन्न हो गया था, फिर मैं होश में आया और सीधे जाकर उसे ज़ोरों से गले लगा लिया और उसके होंठों पर होंठ रखकर चूमने लगा, उसे ख़ुद को सँभालने का मौक़ा भी नहीं मिला।

चूमते-चूमते मैंने अपना एक हाथ उसकी पैन्टी के अन्दर डाल कर उसके गोरे-गोरे और मुलायम चूतड़ों को सहलाने लग गया। फिर मैंने उसकी ब्रा भी उतार दी। ब्रा उतारते ही उसकी गुलाब़ी घुंडियों वाली चूचियाँ मेरे सामने थीं। मैंने उन्हें दबोच लिया और एक हाथ से उसकी घुंडी को मसलने लगा, तो उसकी सिसकियाँ निकल पड़ीं। फिर मैंने एक झटके से उसकी पैन्टी को उतार कर उसे बेड पर लिटा दिया, उसने भी मेरे कपड़े उतार दिए।

उसने झट से उठकर मेरे लंड को पकड़ कर चूसना शुरु कर दिया। मैंने जीवन में कभी भी ऐसा अनुभव नहीं किया था, मुझे स्वर्ग की अनुभूति हो रही थी। वह मेरे लंड को चूसती रही। मैं कभी उसकी चूचियों को सहलाने लगता, कभी घुंडियों को काट लेता। उसने मुझे नीचे लिटा दिया और स्वयं मेरे ऊपर इस तरह आ गई, कि उसकी बिना बालों की चूत मेरे मुँह के पास थी। मैंने भी उसकी चूत में उँगली डालकर चूसने लगा।

उसके गाँड की छेद भी गुलाबी रंग की थी। मैं बीच-बीच में उसमें भी उँगली डाल देता, जिससे वह अचानक चिहुँक पड़ती। थोड़ी देर ऐसा करने के बाद मैंने उसे नीचे लिटा दिया, उसकी टाँगों को अपने कंधों पर रखकर मैंने अपना लंड उसके गाँड की छेद पर रखा और हल्का सा धक्का लगाया तो मेरे लंड का सुपाड़ा उसके अन्दर चला गया, जिसके कारण वो चिल्ला उठी। मैं रुक गया और उसकी चूचियाँ दबाने लगा, उसका दर्द थोड़ा कम हुआ तो मैंने फिर उसकी जाँघों को पकड़ कर धक्का मारा और पूरा लंड अन्दर घुसा दिया। वह एकदम से चिल्ला उठी।

मैंने उसके होठों को चूमने शुरू कर दिया, फिर थोड़ा सामान्य होने पर मैं उसकी गाँड में अपना लंड अन्दर-बाहर करने लगा। अब उसे भी मज़ा आने लगा। मैंने साथ में उसकी चूत में उँगली करना भी जारी रखा, जिससे उसे और भी मज़ा आ रहा था। वह सिसकारियाँ लेने लगी और बोली, अमन थोड़ा और तेज़ करो। मैंने चुदाई की गति में और बढ़ावा किया। थोड़ी देर बाद उसकी चूत से पानी आने लगा, और वह अपनी गाँड को दबोचने लगी। उसने कहा, “अमन मैं गई… मैं गई…!” कहते हुए फिर वो आहहह्हहहह…. आह्ह्हहह्हहहह करने लगी।

पर मैं रुका नहीं। ५ मिनट बाद मेरा भी निकलने वाला था। मैंने पूछा – “गौरी कहाँ छोड़ूँ?”

उसने कहा, “अन्दर ही।”

थोड़ी देर धक्के मारने का बाद मैंने अपना सारा वीर्य उसकी गाँड में ही छोड़ दिया। यह पहला अवसर था कि मैं किसी की गाँड में स्खलित हुआ था।

फिर मैं उसके ऊपर लेट गया, थोड़ी देर लेटे रहने के बाद हमने एक-दूसरे को साफ़ किया और वापस आकार दुबारा बिस्तर पर लेट गए और बातें करने लगे। थोड़ी देर बाद मैं फिर से तैयार हो गया। फिर मैंने उसकी चूत की जमकर चुदाई की।

उस दिन मैंने उसकी २ बार चुदाई की। फिर उसने मुझे १००० रुपये दिए और कहा कि अब मैं तुम्हें बुलाती रहूँगी।

उस दिन से अब तक मैंने उसकी कई बार चुदाई की। फिर मैंने उसके द्वारा अन्य स्त्रियों से भी सम्पर्क साधा। Antarvasna

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मेरा नाम किरण वर्मा है, मेरी उम्र बीस Hindi Sex Stories साल है, रंग इतना गोरा नहीं है पर नैन-नक्श तीखे हैं और बेहतरीन जिस्म की मलिका हूँ। इस वक़्त कॉलेज में पढ़ती हूँ। किसी लड़के की नज़र मेरे गोल-मटोल मम्मों पर न रुके, यह हो ही नहीं सकता। लड़कों ने मेरा नाम जुगाड़ डाल रखा है।

मैं शुरु से ही एक ऐसे माहौल में रही हूँ, जिससे मैं अपनी जवानी को शुरु से ही क़ाबू में नहीं कर पाई, मेरी संगत और गन्दी लड़कियों से रही। खाली समय में कक्षा में ही एक-दूसरी के मम्मे दबाना, पेन-पेन्सिल चूत में डाल कर मज़े लेना आदि। जल्दी ही पेन-पेन्सिल छोड़कर लंड भी तलाश लिया। उसके बाद कई लड़कों के साथ मैंने मज़े लूटे। वैसे मैंने बहुत चुदाई करवाई है, लेकिन आपको अपनी एक ऐसी चुदाई सुनाऊँगी जो मैं कभी नहीं भूल सकती।

मोहल्ले के ही एक लड़के के साथ मेरा चक्कर चल निकला। वह मुहल्ले का एक गुंडा टाईप लड़का था, जिससे सभी डरते हैं, कोई भी उसके साथ पंगा नहीं लेता। मुझे वह बहुत पसन्द था, इसलिए मैंने उसे बढ़ावा दिया और उसके इजहार करते ही मैंने हाँ कह डाली। हम छुप-छुप कर मिलने लगा। वो मेरे हर-एक अंग से खेल चुका था। बस जगह न मिलने के कारण उसने मुझे चोदा नहीं था। उसका मोटा लंड कई बार हाथ में लेकर सहलाया और मुठ मार चुकी थी। एक बार साईबर कैफे के केबिन में चूसा भी था।

जैसे ही मौसम बदला, सर्दी के दिन आए और घना कोहरा पड़ना शुरु हुआ, उसकी आड़ में हम मिलने लगे। हम चुदाई के लिए तड़प रहे थे, क्योंकि जब से उसके साथ मेरे चक्कर के बार में मेरे दूसरे बोर दोस्तों को पता चला तो वह मेरा साथ छोड़ धीरे-धीरे पीछे हट गए थे। एक दिन घना कोहरा पड़ा हुआ था। मैं स्कूल के लिए निकली थी, रोज़ की तरह थोड़ा आगे जाकर वह जहाँ मुझे रोज़ मिलता था, आज वह वहाँ नहीं मिला। थोड़ा आगे बढ़ी तो किसी ने मेरी बाँह पकड़ कर मुझे अपनी ओर खींच लिया। मैं उसकी बाँहों में चली गई। प्लॉट खाली था, कोहरा इतना था कि आदमी को पास खड़ा आदमी भी नहीं दिख पाता था। मैं उससे लिपट गई, उसने बेइन्तहा चूमना शुरु कर दिया। दोनों हाथों से मेरी चूचियाँ दबाने लगा।

मैंने उसका लंड पकड़ लिया। उसने मेरी स्कर्ट में हाथ डाल दिया। अन्दर स्लाक्स पहनी हुई थी, जो शरीर से बिल्कुल चिपकी हुई थी। उसने मेरी चूत मसल डाली। मेरे अन्दर आग आज कुछ अधिक ही धधक रही थी, आज मैं बहुत प्यासी थी। मैंने उसके लंड को पैन्ट के ऊपर से पकड़ लिया।

मैंने उसकी बाँह पकड़ कर उसे प्लॉट के पिछले हिस्से में खींच लिया और उसकी ज़िप में से लंड निकाल लिया, पैरों के बल बैठ मुँह में डाल लिया और पागलों की तरह चूसने लगी। उसने नीचे से अपना पैर स्कर्ट में डाल अपने पैर के अँगूठे से मेरी चूत को दबा दिया। ओस से कपड़े गीले हो जाते, इस वज़ह से हम नीचे नहीं लेट सकते थे। उसने मुझे खड़ा किया, स्कर्ट खोल डाली। हुक़ खुलते ही स्कर्ट नीचे गिर गई। हाय… यह क्या कर दिया तुमने?

तुझे नंगी किया.. साली…!

उसने चूस-चूस कर पागल कर दिया और स्लाक्स उतार कर फेंक दी।

मैंने कहा, ठीक से रख दो, फिर पहनने भी तो हैं। मैं भी बेशर्म हो गई और पैन्टी ख़ुद ही उतार दी। उसने अपनी शर्ट उतार कर वहीं नीचे बैठते हुए मुझे घुटने रखवा कर घोड़ी बना दिया और अपनी जीभ मेरी चूत में डाल कर चूसने लगा।

हाय… लंड पेल दो प्लीज़…

ले रानी, कहते हुए उसने लंड को चूत पर रखते हुए धक्का मारा। उसके तीन धक्कों से ही लंड मेरी चूत में पूरा समा गया। अब करो… फाड़ डालो… बहुत प्यासी है यह तेरे लंड की आज… ठंडी कर दे मेरी आग…

वह तेज़-तेज़ धक्के मारता गया… अचानक उसने पासा पलटा और सीधा लिटा कर अन्दर डालते हुए करारे झटके मारे… मैं झड़ गई और मेरी गर्मी से वो भी पिघल गया और अपना सारा पानी मेरी चूत में ही डाल दिया।

कितना मज़ा आया इस तरह रास्ते में चूत मरवा कर… ऐसा मज़ा बिस्तर पर कभी नहीं आया।

तो यह थी मेरी एक मस्त चुदाई की कहानी। फिर हाज़िर होऊँगी अगली कहानी लेकर। सब लड़कों के लंड खड़े रहें। भगवान सभी को मोटे लंड दें, ताकि मुझ जैसी प्यासियों की आग बुझती रहे। Hindi Sex Stories

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