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Massage Girl in Tirupati: Premium Relaxation Services

Our site can help you find a professional massage girl in Tirupati who will help you relax in the best manner possible. We connect you with professional therapists who can offer you a massage that will make you feel better and more relaxed. The pros on our list are ready to provide you with a fantastic experience at your house or in one of their particular spots, whether you want to relax or get away from it all.

Introduction

Massage is currently one of the finest methods to relax your mind, body, and overall health. Our website makes it easy to locate the top massage services in Tirupati that meet your demands. This will be a one-of-a-kind and calming experience for you.

Tottaa wants to make it simple for clients to find the top masseuse. The Tirupati massage service providers on our list offer the greatest quality, comfort, and competence, whether you want a full-body massage or a massage for a particular location.

How Tottaa Helps Advertisers Reach More Customers

Tottaa is not only a list of masseuses, it’s also a secure location for them to show off what they can do. People in Tirupati who are seeking massage services may find them on our website. This makes them easier to find and gets them more appointments.

Advertisers may simply put up profiles, offer their services, and talk about pricing and discounts on our sites. This makes sure that the relevant people notice your Tirupati massage service, which makes it easier to obtain more customers.

Different Types of Massages We Offer

There are a lot of different types of massage services on our site, so you may choose one that works for you. You may choose the kind of treatment that works best for you, whether it’s profound rest or a particular type of therapy.

1. Swedish Massage

A calm and gentle way to ease muscular tension and improve blood flow. This Tirupati massage is perfect for you if you want to relax and forget about your concerns.

2. Deep Tissue Massage

This approach employs a lot of pressure to get to deeper muscle layers. It’s helpful for folks who have muscular discomfort or stiffness that won’t go away. There are specialists on our profiles of massage girls in Tirupati who are good at deep tissue treatments that function effectively.

3. Aromatherapy Massage

Calming massage strokes and essential oils are beneficial in making people feel improved both emotionally and physically. Most massage companies in Tirupati employ the use of custom oil preparations to make you feel good.

4. Thai Massage

A therapy that wakes you up by using a mix of regular massage, stretching, and compression. This traditional massage in Tirupati helps you relax, become more flexible, and get your mind and body back in harmony.

5. Hot Stone Massage

Heated stones are placed on various parts of the body to help with deep muscular tightness. People who want to feel good, relax, and help their muscles recover quickly can use this massage service in Tirupati

How to Book Our Massage Services

Tottaa makes it simple and fast to book. With our listings, you can see what kind of massage you want, read about the providers, see that they are free and then contact them directly. After you choose, you can book a massage in Tirupati at your convenient time and location. In order to get your desired massage services, apply the following simple steps:

Step 1: Browse Our Listings

Take a peek around our site to view a few massage professionals. Each listing gives you information about the many sorts of massages, how long they last, how much they cost, and where they are situated. This makes it easier to choose the finest ones.

Step 2: Compare and Shortlist

Examine the profiles carefully to compare how the services, talents, and reviews posted by customers differ. This phase makes sure you choose a business that has the style, pricing, and supply you desire.

Step 3: Connect with the Provider

When you have decided, use the information that you are offered so that you can contact them directly. One can communicate it to the massage giver thus making it understood what massage you want at what time and when.

Step 4: Confirm the Appointment

The date, time and place of the service, which could be your home, a hotel or the spa where the therapist may be found. You also need to agree on the payment method and any other accords prior to commencement of the course.

Step 5: Relax and Enjoy Your Massage

All you have to do on the day of the appointment is have your area ready for the house visit. The remainder will be handled by the expert. Take it easy and enjoy a massage that is made just for you.

Frequently Asked Questions

To locate a professional who can meet your needs, read our biography, reviews and advertising.

Yes, many of the therapists on our site will come to your house so you may feel safe and at ease.

You may pick based on talents since most adverts provide their qualifications in their profiles.

It would be advisable to make a reservation earlier to guarantee that you would be able to get a massage, particularly against the prevalent services of massage.

Not at all. Tottaa exclusively connects users with service providers. The doctor gets to choose how to handle payment.

Read Our Top Call Girl Story's

Sex Stories

मेरा नाम सुनील है लोग मुझे प्यार से ओम Sex Storiesबुलाते हैं। यह कहानी तब की है जब मैं १२ में पढ़ रहा था। मेरे पड़ोस में एक लड़की रहती थी जिसका नाम करीना था वो हमेशा मेरे घर सवाल पूछने के लिये आती थी।(क्योंकि मैं अपने क्लास में सबसे तेज लड़का था)। उसके घर से जाने के बाद में हमेशा उसीके बारे में सोचता रहता था। एक दिन जब मेरे घर के लोग मेरी सिस्टर के लिये लड़का देखने गये थे तो वह मेरे पास आई उस दिन मेरा इरादा उसे चोदने का था इसलिये मैं पढ़ाई के बजाय उस दिन उससे बातें ही करता रहा और इसी बीच मैंने उससे अपने प्यार का इज़हार कर दिया इस पर वो बोली ओम मैं भी तुमसे बहुत प्यार करती हूं लेकिन डर के कारण मैंने यह बात तुमसे कभी कही नहीं।

उसके इतना कहने पर मैंने अपना हाथ उसके गोल चूचियों पर रख दिया और उसे मसलने लगा और उसके मुँह से उफ़…की आवाज़ निकलने लगी फिर धीरे-२ मैंने उसकी शलवार और समीज दोनो निकाल दी और इसके बाद एक गजब का दृश्य मेरे सामने था। सबसे पहले तो मैंने उसकी न देखी गई चूत और गांड को काफी देर तक देखता रहा फिर जब मुझसे रहा नहीं गया तो मैंने उसकी चूत पर अपना हाथ रखकर उसे मसलना स्टार्ट कर दिया फिर वो भी आनंद लेते हुये आह उह …करने लगी और बोली ओम मेरी चूत को फाड़ दो इसे जन्नत में पहुंचा दो फिर मैं मसलते हुये अपना मुँह उसकी भीगी हुयी चूत पर सटा दिया तो वो एकदम से बेचैन हो गयी और अपनी कमर को इधर उधर घुमाने लगी तथा गांड को उछालने लगी तब मैं समझ गया कि यही असली मौका है चूत में लंड डालने का

फिर मैंने अपने लंड को उसकी चूत में डालना चालु किया क्योंकि चूत पहले से गीली थी इस कारण वो एक ही झटके में अंदर चला गया और वो बिल्कुल से चिल्ला उठी धीरे करो कितना बडा है तुम्हारा लौड़ा यह तो मेरी चूत ही फाड़ डालेगा फिर मैंने धीरे-२ इधर उधर करने लगा थोड़ी देर के बाद उसने स्पीड को फ़ास्ट करने के लिये कहा और फिर अपने को और फ़ास्ट किया मैंने वो आह ऊह स्सस करती जा रही थी उसे काफी तेज दर्द हो रहा था लेकिन जोश में होने कारण उसे दर्द का एहसास कम हो रहा था हम दोनो और फ़ास्ट हो गये और फिर अचानक महसूस हुआ कि उसकी चूत से कुछ गरम-२ निकलता हुआ लगा तो मैं समझ गया कि वो झड़ गयी और उस समय उसकी स्पीड भी नोर्मल हो चुकी थी फिर मैने भी तेजी के साथ करते हुये अपना पानी गिरा दिया और उसकी चूची पर मुँह रख कर कुछ देर तक पड़ा रहा फिर हम दोनो उठे उससे उठा नहीं जा रहा था तो मैंने उसे हेल्प किया फिर मैंने देखा कि जमीन पर काफी ज्यादा ब्लड गिरा था फिर मैंने पानी लाकर उसे झाड़ु से साफ कर दिया और उस दिन से मेरी उसकी स्टोरी लगभग ३ साल तक चली और अब उसकी शादी हो चुकी है और वो दो बच्चों की माँ भी है। Sex Stories

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यह घटना तब की है जब मेरी उम्र 22 थी, मैं अपनी पढ़ाई पूरी कर चुका था और एक ऑटोपार्ट्स की दुकान में काम करता था. मेरे बॉस दुकान के मालिक मुझे छोटू बुलाते थे, उनकी उम्र करीब 36 या 37 साल थी. उनकी पत्नी जिसका नाम मेघा था, उनकी उम्र करीब 30-31 की थी लेकिन वो अपने सुंदर चेहरे, सेक्सी बदन से दिखने पर ऐसी बिल्कुल भी लगती ही नहीं थी कि वो इतनी उम्र की भी हो सकती है, वो बहुत ही हॉट और सेक्सी औरत थी, उनकी एक बेटी भी थी.
मेरे बॉस ने अपनी शादी बहुत देर से की थी.

मुझे अपने बॉस की दुकान के काम के साथ साथ उनके घर के काम भी छोटे बड़े सभी करने पड़ते थे. जैसे कि बॉस का उनके घर से दिन में खाना लेकर आना, घर के लिए कोई भी सामान ले जाना… और भी बहुत कुछ… इससे मेरी और मेरे बॉस की बीवी की बहुत अच्छी बनती थी. उनका व्यव्हार भी मेरे लिए बहुत अच्छा था और मैं हमेशा उन्हें मजाक में बॉस ही बोलता था. लेकिन वो कभी भी मुझसे किसी भी बात पर नाराज नहीं होती थी. वो भी मुझे प्यार से छोटू ही बोलती थी.

जब भी मैं उनके घर पर काम से जाता तो हम बहुत देर तक मस्ती मज़ाक करते. मुझे उनके फिगर के साईज का तो पता नहीं हैं लेकिन वो भरे बदन की थी. उनका रंग भी बिल्कुल गोरा था. हमारा मजाक इतना होता था कि जब भी मैं अपने बॉस का खाना लेने जाता तो मैं उनसे मजाक में बोलता था- आपके पापा ने खाना मंगवाया है.

मेरे मुख से यह बात सुनकर ज़ोर से हँसने लगती और मुझसे कहती- तू बहुत बदमाश हो गया है. बहुत बड़ी बड़ी बातें करता है.
एक दिन मेरे बॉस ने मुझसे बोला- छोटू, मैं 20-25 दिन के लिए किसी जरूरी काम से अपने गाँव जा रहा हूँ तो तू क्या मेरे पीछे से दुकान सम्भाल लेगा?
मैं बोला- हाँ बॉस, कोई बात नहीं, आप आराम से बिना चिंता किए चले जाइये.

फिर बॉस मुझसे बोले- मैडम मेरे साथ नहीं जाएँगी क्योंकि बेटी का स्कूल है तो इसलिए तू दुकान बंद करने के बाद मेरे घर पर ही रहना.
मैं बोला- जी बॉस…
फिर बॉस बोले- मैं कल सुबह ही निकल जाऊंगा तो तू दुकान पर ठीक समय पर आ जाना.

दूसरा दिन आया, मैंने दुकान खोली तब तक बॉस जा चुके थे और मैं पूरे दिन बिल्कुल अकेला था.
फिर रात हुई और मैं अपने बॉस के घर पर गया और वहां पर पहुंचने के बाद मैडम ने मुझसे पूछा कि क्या तुमने दिन में खाना खाया था?
मैं बोला- जी बॉस, मैंने दिन में खाना खा लिया था.

फिर कुछ देर बाद मैडम ने खाना लगाया और हमने एक साथ ही बैठकर खाना खाया और उसके बाद हम तीनों खा पीकर सो गये.
मैं हाल में ही सोया था और ऐसे ही तीन दिन गुजर गये, सब कुछ एकदम ठीक ठाक था.

उसके अगले दिन रात के करीब 2:30 बज रहे थे और मुझे बहुत ज़ोर से पेशाब लगी तो मैं पेशाब करने उठा और जब मैं वापस आया तो मेरी नज़र मैडम के रूम की तरफ चली गई. मैंने देखा कि रूम का दरवाजा थोड़ा सा खुला हुआ था तो मैंने सोचा कि शायद मैडम जाग रही है तो इसलिए मैं रूम के बहुत करीब गया और जैसे ही मैंने अंदर देखा तो देखकर मेरे होश उड़ गये और मेरी दोनों आँखें फैल गई, क्योंकि उस समय मेरी बॉस मेक्सी के ऊपर से ही अपनी चूत को सहला रही थी और आअहह उउफफफ्फ़ हनमम्म कर रही थी.

मेरा मन किया कि मैं जाकर उनसे चिपक जाऊँ लेकिन मेरी इतनी हिम्म्त नहीं हुई और मैं किसी तरह अपने आप पर कंट्रोल करके या शायद उनसे डरकर मैं वापस आकर सो गया.
फिर सुबह हुई और हम नाश्ता कर रहे थे, मैं अब चोर नज़र से मैडम को ही बार बार देख रहा था और तभी मैडम मुझसे बोली- क्या बात है, आज तुम बहुत चुपचाप हो?
मैंने कहा- ऐसा कुछ नहीं है.

फिर मैं दुकान पर जाने के बाद पूरे दिन भर बॉस की बीवी की चुदाई के बारे में ही सोचता रहा और सोचते सोचते मेरा लंड टाईट हो जाता!

आज मैं रात को सोया ही नहीं, बस उनके बारे में ही सोचता रहा और रात को करीब दो बजे मैं फिर से उठा और मैडम के रूम की तरफ जाकर देखा, लेकिन आज दरवाजा अंदर से बंद था तो मैं करीब गया और वहीं पर बैठ गया और कुछ देर बाद अंदर से फिर वही सिसकारियों की आवाज़ आने लगी और मैं बाथरूम में जाकर मुठ मारने लगा.

ऐसे ही पूरे 6 दिन निकल गये.

मेरा मन अब बॉस की बीवी की चुदाई को चोदने का बहुत कर रहा था और फिर वो रात आ गई, रात के 1 बज रहे थे, मैं दरवाजे के बिल्कुल पास ही था और मैडम की आवाज़ सुन रहा था. मैंने अब दरवाजे पर ज़ोर से हाथ मार दिया और जिसकी वजह से दरवाजा खुल गया और मैं मैडम से बोला- क्यों आपकी तबीयत तो ठीक है ना?
मैडम बोली- हाँ क्या हुआ? मैं तो एकदम ठीक हूँ.
मैं बोला- जी मैडम!

और फिर मैं जाकर हॉल में बैठ गया.
थोड़ी देर बाद दरवाजा खुला और मैडम बाहर आई. मैं उस समय सोफे पर बैठा हुआ था तो वहीं पर मैडम भी आकर बैठ गई और वो बोली- क्या हुआ, क्यों चिल्ला रहे थे मैं डर गई थी?
फिर मैं बोला- मैडम, मैंने आपकी आवाज़ सुनी तो मैंने सोचा कि शायद आपकी तबीयत खराब है.
मैडम बोली- नहीं, मैं एक सपना देख रही थी.
मैंने पूछा- कैसा सपना?
मैडम बोली- वो एक बहुत डरावना सपना था.

अब मैं उनसे नाटक करने लगा- क्या मैडम आप भी सपनों से डरती हो?
अब वो कुछ नहीं बोली.

फिर मैंने उनसे पूछा- क्या हुआ मैडम, क्या आप ज़्यादा डर गई हो?
मैडम बोली- नहीं तो!
मैं बोला- फिर आप बिल्कुल चुप क्यों हो?
तो मैडम बहुत ही धीरे से बोली- मुझे बहुत प्यास लगी है.

मैं तुरंत समझ गया लेकिन फिर भी मैंने नाटक किया- हाँ ठीक है, मैं अभी पानी लाता हूँ!
और मैं उठकर पानी लाया, उनसे बोला- यह लीजिए!
तो मैडम ने देखा तो मुझे हँसी आ गई.

फिर मैडम मुझसे पूछने लगी- तुम ऐसे हंस क्यों रहे हो?
मैं उनसे बोला- लीजिए अपनी प्यास बुझा लीजिए!

तभी मैडम ने मेरा एक हाथ खींचकर मुझे सोफे पर बैठा लिया और वो मेरी गर्दन को दबाकर मुझसे बोली- क्या बात है, तुझे बहुत हंसी आ रही है? प्यास नहीं जानते तुम या नाटक कर रहे हो? और अब मैडम के बूब्स मेरी छाती से टकरा गये.
मैं और पीछे हुआ और मैडम बैठ गई.

फिर मैं बोला- मैडम, मुझे पता है कि आप क्या सपना देखती हो?
अब मैडम ने हल्की सी स्माईल की और बोली- क्या पता है?
मैं बोला- यही कि जो सपना आप देखती हो तो उससे आपको प्यास लग जाती है.
और फिर मैं ज़ोर ज़ोर से हँसने लगा.

मैडम ने फिर मेरी गर्दन को दबाया और बोली- ज्यादा हंस मत!
और इस बार उनके बूब्स मेरी छाती से पूरी तरह चिपक गये और मेरा लंड एकदम टाईट होने लगा. मेरी नज़र मैडम के बूब्स पर गई और तभी वो उठने लगी तो मैंने देर ना करते हुए उनके गाल पर एक किस कर लिया तो वो पहले थोड़ा सा शरमाई, फिर हंसकर मेरे होंठों को चूमने लगी और अब मैडम सोफे पर एकदम सीधा होकर मेरे ऊपर लेट गई.

मैंने अपने दोनों पैर फैला लिया, मैडम मेरे पैर के बीच में आ गई, मेरा लंड उनकी उभरी हुई गीली चूत से दब रहा था और वो खुद जान बूझ कर अपनी चूत को मेरे लंड पर दबा रही थी, मैं उन्हें ज़ोर से चिपकाए हुए था और हम दोनों ज़ोर से किस कर रहे थे.

तभी मैं अपना एक हाथ उनकी चूत पर ले गया और चूत को सहलाने लगा, मैंने धीरे से मैडम की चूत में एक च्यूंटी काट ली और जिसकी वजह से वो उछल गई और मैं हँसने लगा.
वो मुझसे बोली- कमीने रुक… मैं अभी तुझे बताती हूँ!
यह कह कर उन्होंने ज़ोर से मेरी छाती पर अपने दाँत से काट लिया, उस दर्द की वजह से मैं चिल्ला पड़ा तो उन्होंने तुरंत मेरे मुख पर अपना एक हाथ रख दिया, बोली- ज्यादा चिल्ला मत, वरना मैं और भी ज़ोर से काट सकती हूँ.

फिर हम दोनों सोफे से सीधे नीचे फर्श पर लेट गये, मैडम अब तक मेरे ऊपर चढ़ी हुई थी, वो लगातार मेरे लंड पर अपनी चूत को मसल रही थी और मुझे बहुत मज़ा आ रहा था.
मैडम का वजन थोड़ा ज़्यादा था.

अब मैडम मेरे ऊपर से हटी, पास में आकर बिल्कुल सीधा लेट गई, हम ऐसे ही नीचे लेटे हुए थे.
फिर मैडम मुझसे बोली- तुम कभी किसी को कुछ भी मत बोलना!
तो मैंने उनसे कहा- आप बिल्कुल भी चिंता मत करो, कभी भी किसी को पता नहीं चलेगा!

मैडम मेरी तरफ मुस्कुराई और मैं उनके ऊपर चढ़ गया, अब मैं मैडम के ऊपर बिल्कुल सीधा लेटा हुआ था, मैं उस समय नाईट पैन्ट पहने हुए था जिससे मेरा लंड मैडम की चूत से होते हुए उनकी जाँघों के बीच में घुस रहा था.

अब हम किस कर रहे थे और मैं एक हाथ से मैडम का एक बूब्स बहुत ज़ोर से दबा रहा था, मैं मैडम की गर्दन को चूम रहा था और साथ ही एक बूब्स को दबा भी रहा था और जिसकी वजह से मैडम उह्ह्ह्ह ऑश आहह अफफफफफ छोटू अह्ह्ह्ह की आवाज़ निकाल रही थी.

अब मैडम ने मुझे अपने ऊपर से हटाया और वो सोफे पर बैठ गई, मैडम ने अपनी नाईट पैन्ट को उतार दिया, उन्होंने अंदर काली पेंटी पहनी हुई थी. उसने अपने दोनों पैर फैला दिए और फिर वो मुझसे बोली- चल अब आ जा, जल्दी से मेरी प्यास बुझा दे.
मैं सोफे के करीब गया और उनकी चूत पर पेंटी के ऊपर से हाथ फेरने लगा. फिर मैंने पेंटी के ऊपर से ही चूत पर एक किस किया तो मैडम ने उफ़फ्फ़ स्सीईईइ करके अपनी दोनों आँखों को बंद कर लिया.
फिर मैंने मैडम की पेंटी को उतारा और उनकी चूत को अपनी एक उंगली से सहलाने लगा, फिर मैंने अपनी उंगली को चूत में घुसा दिया, जिसकी वजह से मैडम सिसकारियाँ लेने लगी और आअहह उफ्फ्फ्फ़ करने लगी.

अब मैं उस बैचेन, तड़पती हुई, प्यासी चूत के पास अपना मुंह ले गया और अपनी जीभ से उनके चूत के दाने को सहलाने लगा.
मैडम मुझसे बोली- उफ्फ्फ्फ़ आह्ह्ह्ह छोटू तू यह क्या कर रहा आईईइ… है?
मैं उनकी चूत को चाटने, चूसने लगा और मैं अपनी जीभ को उनकी चूत में अंदर तक घुसाकर चाट रहा था.

मेरी मैडम अब मेरा सर पकड़कर अपनी चूत के ऊपर ज़ोर ज़ोर से दबा रही थी और वो आहह उम्म्ह… अहह… हय… याह… उफफ्फ़ उईईईई की आवाज़ निकाल रही थी.
थोड़ी ही देर में उन्होंने मेरा सर अपनी चूत पर और भी ज़ोर से दबा दिया और अब उन्होंने अपनी चूत का पानी मेरे मुँह पर निकाल दिया जिसको मैं चूसने लगा.

उसके बाद मैं उठा, अब हम दोनों पूरे नंगे हो गये, मेरा लंड पूरा टाईट था तो मैडम लंड देखकर बोली- साले कमीने, तेरा कितना बड़ा है?
मैंने कहा- हाँ, यह आपके लिए ही है.
मैडम बोली- अच्छा रुक, मैं अभी तुझे बताती हूँ!
और वो अब मेरा लंड पकड़ कर ज़ोर से ज़ोर मसलने लगी, मैं ऑश उफ्फ्फ बाप रे मैडम करने लगा.

मैडम मुझसे बोली- क्यों क्या हुआ बच्चू? दर्द हो रहा है?
मैं बोला- क्या आज इसे तोड़ ही दोगी क्या?
मैडम हँसने लगी.

फिर वो बहुत आराम से मेरे लंड से खेलने लगी और मैं उनके एक बूब्स को दबाने तो दूसरे को चूसने लगा.
कुछ देर बाद मैं रुका और मैडम से बोला- मैं एक मिनट में अभी वापस आता हूँ!

मैं जल्दी से पास वाले रूम में गया और दो तकिए लेकर आ गया. अब मैडम फर्श पर लेटी हुई थी, मैंने एक तकिए को मैडम की गांड के नीचे रख दिया, मैडम की चूत बहुत मोटी थी, बहुत मस्त चूत थी.
मैंने उनके दोनों पैर फैलाए और एक बार फिर से उनकी चूत को चाटने लगा.
मैडम सिसकारियाँ लेते हुए मुझसे बोली- तू चूत को बहुत अच्छा चाटता है.

मैं उनके मुँह से यह बात सुनकर और भी ज़ोर से उनकी चूत को चाटने लगा, लेकिन थोड़ी देर चूत चाटने के बाद मैडम मुझसे बोली- छोटू मैं गई!
मैं ज़ोर से चाटने लगा.
मैडम का पानी निकल गया जिसकी वजह से उनकी पूरी चूत गीली हो चुकी थी.

मैं अब मैडम के दोनों पैरों के बीच में बैठ गया और अपने लंड को उनकी चूत पर रगड़कर गीला करने लगा और मैडम बोलने लगी- उफफफ्फ़ आह्ह्ह्ह कमीने, जल्दी से इसे अंदर डाल दे, कुत्ते तू यह क्या कर रहा है? थोड़ा जल्दी से डाल दे… स्सीईईई आह्ह्ह… क्या बस ऐसे ही करता रहेगा?

मैंने उनकी तड़प को देखते हुए अपने लंड का सुपाड़ा मैडम की गीली नंगी चुत के मुँह पर रख दिया और एक ही ज़ोर के धक्के के साथ अपना पूरा लंड चूत के अंदर डाल दिया.
मैडम बोली- उईईई उफ्फ कुत्ते साले… तेरा बहुत बड़ा है! थोड़ा मेरे ऊपर रहम कर! आह्ह्ह्ह!

मैं थोड़ा रुककर ऐसे ही अपने लंड को डाले कुछ देर रुका रहा, फिर मैंने मैडम के दोनों बूब्स को एक एक हाथ में पकड़ा और बूब्स को दबाते हुए बूब्स के बीच में अपनी जीभ से चाटने लगा.
मैडम आअहह उफ्फ्फ्फ़ अर्ररर और हाँ तेज़ तेज़ सिसकारियाँ लेती हुई बोली- छोटू, मुझे किस करो!
मैं मैडम के ऊपर लेट गया और उनके गुलाबी होंठों को धीरे धीरे मज़े लेते हुए चूसने लगा.

अब मैंने लंड को धीरे से थोड़ा बाहर किया और फिर एक ज़ोर का धक्का देकर पूरा अंदर डाल दिया जिसकी वजह से मैडम की चीखने की आवाज़ मेरे मुँह में दबकर रह गई.
मैं लगातार धक्के देकर अपनी मैडम की चुदाई करने लगा, पूरे हॉल में छप छप की आवाज़ आ रही थी. मेरी मैडम ‘ऊऊहह एसस्स ऊओह मरी छोटू और ज़ोर से करो और उफ्फ्फ्फ़ मज़ा आ गया…’ बोलती रही.

करीब 20 मिनट तक हमारी चुदाई चलती रही, फिर हम एक साथ झड़ गये और मैं मैडम के ऊपर ही कुछ देर ऐसे ही पड़ा रहा, मेरा लंड अभी भी मैडम की चूत में ही था और धीरे धीरे सुकड़ कर छोटा हो रहा था.
फिर मैं उठा तो मैडम मुझसे मुस्कुरा कर बोली- क्या हुआ, थक गया?
मैं बोला- अभी कहाँ… अभी तो पूरी रात बाकी है.

फिर हम उठकर बाथरूम में चले गये, मैडम ने पेशाब किया और मैं उन्हें देख रहा था, मैंने अब पेशाब करते हुए ही उनकी चूत में अपनी एक उंगली को डाल दिया, जिसकी वजह से मैडम उछल पड़ी और हम हम दोनों हँसने लगे.

मैडम ने मुझे अपनी छाती से चिपका लिया और फिर हमने पानी चालू किया, अब हम भीगते हुए एक दूसरे को चूमने, चाटने लगे.

मैंने मैडम को अब फर्श पर सीधा लेटा दिया और फिर उनकी चूत को पागलों की तरह चाटने लगा जिसकी वजह से पानी मेरे ऊपर से गिरकर मैडम की चूत पर टपक रहा था और मैडम ऊओह्ह्ह आअहह ह्म्म्म्म कर रही थी.

अब मैंने अपनी मैडम के दोनों पैरों को पूरा फैलाकर चोदा और कुछ देर बाद मैडम मेरे ऊपर बैठकर मुझे चोद रही थी.

उस रात हमने सिर्फ़ दो बार चुदाई की.
अगले दिन से कई बार रात में हम चुदाई करते!

एक दिन मेरे बॉस का फोन आया कि उन्हें वापस आने में अभी 10-12 दिन और लगेंगे.
मेरे बॉस वहाँ पर नहीं थे, तब हम पति पत्नी की तरह रहने लगे.

हमने बहुत बार चुदाई के मज़े लिए और जब मेरे बॉस वापस आए तो भी मेरी मैडम मेरे बॉस को फोन करती और उनसे कहती- छोटू को घर पर भेज दीजिए, उससे मुझे कुछ सामान मंगवाना है. और इस बहाने से हम करीब 20-25 मिनट तक बहुत मज़े से चुदाई कर लेते थे.

नमस्कार दोस्तो व भाईयो, Antarvasna

आप लोगों के आशीर्वाद और मुस्कान Antarvasna भाभी की दया और प्यार से मैं चोदना सीख गया, पर अभी तक सिर्फ तीन उंगली से उसकी बुर को और लंड से उसकी मुँह को चोदा था। पर दूसरे दिन उसने बुर की चुदाई सिखानी थी। दूसरे दिन उसने मुझे सारा काम जल्दी निपटाने को कहा और अपनी बेटी को भी जल्दी पढ़ा लेने को कहा, क्योंकि मुझे महसूस हो चुका था कि वो साली भोंसड़ी कल से ही गरमाई हुई थी और उस छिनाल की चूत में शायद ज़ोरों की खुज़ली हो रही ती। अतः वह मेरे लंड से चुदवाने को आतुर थी। मैंने भी अपना सारा काम जल्दी कर लिया। शाम में जल्दी उसकी बेटी को पढ़ाया पर लौटते वक्त उसने धीरे से कहा- जल्दी आईएगा, मैं दरवाजा खुला रखूँगी।’

मैं रात में जब उसके घर गया तो वह अपने कमरे में सिर्फ ब्लाउज़ तथा पेटीकोट में लेटी थी। मेरे भीतर जाते ही दरवाजा बन्द कर लिया। मुझे खींच कर अपने बिस्तर पर अपने साथ लिटा लिया और मेरे कपड़े उतारने लगी।
तब मैंने कहा- क्यों भाभी जान, इतनी जल्दी क्यों? क्या बुर में ज़ोरों की खुजली हो रही है क्या? पर पहले तो मैं तेरी चूचियों को दबा-दबा कर फुलाऊँगा और तेरा दूध पीऊँगा। फिर तुम चुदवाना।

पर उसने कहा- पर मेरे प्यारे देवर राजा, देखो ना इस साली बुर को, कैसे तेरे लंड को देखते ही हर-हर करके पानी छोड़ रही है।
इतना कहकर उसने मेरे एक हाथ अपनी पेटीकोट ऊपर करके अपनी बुर पर रख दिया। मैंने देखा, आज उसकी बुर काफी चिकनी लग रही थी। उस पर झाँटें भी नहीं थीं, बुर पूरी गीली थी। मैंने भी अपनी 2 उंगली बुर के भीतर ठेल दिया और एक हाथ से उसकी चूचियाँ ज़ोर-ज़ोर से दबाने लगा। वह आह मेरे राजा… ज़ोर से… और ज़ोर से… इस बुर में उंगली घुसाओ… आहहहह्! ओहह्ह! आआआस्स सस्सस करने लगी। अब देर मत करो, आओ, मुझे चोदो। प्लीज़ मुझे चोदो।

पर मैं उसे थोड़ा तड़पाना चाहता था और यह जानता था कि चुदाई के समय गन्दी बातें कहने से औरत की काम-वासना और तीव्र हो जाती है; अतः मैंने कहा- भोंसड़ी, साली रंडी, छिनाल, अभी भी तुझे ही अपनी बुर चुदवाने का मन करता है? पर अब तो तेरी बेटी की चुदवाने की उमर है। कभी देखी है गौर से उसकी चूचियाँ, ओह, क्या मस्त है गोल-गोल उसकी चूचियाँ! उसकी बुर भी काफ़ी मस्त होंगी। मेरे लण्ड का दिल तो तेरी बेटी की बुर पर आ गया है। साली छिनाल, पहले वादा करो कि अगली बार अपने साथ अपनी बेटी को भी मुझसे चुदवाओगी, तभी मैं तुम्हें पेलूँगा।

“हाँ मेरे राजा, उस हरामज़ादी की बुर को भी तेरी ही लंड की रंडी बनाऊँगी। अगली बार हम माँ-बेटी दोनों एक साथ तेरे लण्ड से चुदवाएँगी, पर पहले मुझसे ट्रेनिंग लेकर अपने लंड को घोड़े जैसा तो बना लो।”

“आज तेरी चूत तो चोदूँगा ही पर तेरी गांड भी मारूँगा और अपना वीर्य तेरी गांड में ही गिराऊँगा। सुना है कि गांड मरवाने में औरतों को अधिक आनन्द आता है।”

“हाँ मेरे राजा, तुझे जो-जो मन करके करना, पर पहले अपने लंड को मेरी बुर में घुसाओ, अब मत तड़पा, अब सहा नहीं जाता।” यह कहकर उसने मुझे अपने ऊपर खींच लिया और जल्दी से मेरे खड़े लंड को अपने बुर की छेद पर लगा कर धक्का दिया।

धक्का देते ही मेरा पूरा लंड एक ही बार में उसकी बुर की जड़ तक चला गया। उसने अपनी बुर को सिकोड़ने के लिए पाँव पर पाँव चढ़ा लिया- वाह…!!! आहह्ह… ओहहह! आहहह! आसस्ससस! अब चोदो मेरे राजा, अब देखूँ, कुँवारे लंड में कितनी ताक़त है। मुझे ज़ोर-ज़ोर से हुमच्च-हुमच्च कर चोदो और मेरे बुर का छेद बड़ा कर दो।’ आहहहह! ओहहहह मेरे प्यारे देवर राजा, अपने भर्तार से चुदवा-चुदवा कर इस चूत से 6 को पैदा किया, पर इतना मजा कभी नहीं आया रे, ओहहहह! सचमुच तेरे लंड ने मेरे बुर को धन्य कर दिया। अब तुम पढ़ाई के साथ चुदाई में भी दक्ष हो गए। आह, मेरे राजा, मैं तो झड़ने वाली हूँ। और ज़ोर से उछल-उछल कर चोदो।

मैं चोदने लगा और उसने मुझे ज़ोर से जकड़ लिया और कहा- राजा, मैं तो गईईईईई।
वो कुछ देर में शान्त पड़ गई पर मेरा जोश कम नहीं हुआ था- साली, रण्डी, भोंसड़ी, अब मैं तुझे कुतिया बनाकर तेरी गांड मारूँगा। चल मेरी प्यारी रंडी चुदक्कड़ भाभी, जल्दी से अब तुम कुतिया बन जाओ।

फिर मैं उसे पीछे घुमाकर उसकी गांड में और अपने लंड पर तेल लगाकर, उसकी गांड में घुसा दिया, पर वह चीख़ पड़ी- उईईई आआआआ, धीरे, आज पहली बार गांड मरवा रही हूँ।
पर मैंने यह सुनकर और भी ज़ोरों का झटका देकर पूरा लंड उसकी गांड में ठोंक दिया। वह चीखने लगी, पर उसका मुझ पर कोई असर न हुआ। मैंने उसका मुँह अपने हाथ से बन्द कर चोदना जारी रखा। पर कुछ ही देर में वह मस्ती में आ गई, और अपनी गांड आगे-पीछे करने लगी।
वह बोली कि गांड तो ज्यादा मजा देता है। फाड़ कर मेरी गांड को मेरी चूत से भी बड़ी कर दो।
पर कुछ देर में मेरा भी वीर्य निकलने वाला था, मैंने कहा- भाभीजान, मेरा भी माल निकलने वाला है, इसे तेरी गांड में ही डाल देता हूँ।

मैंने अपना सारा वीर्य उसकी गांड में ही डाल दिया। अब हम दोनों कुछ देर तक एक दूसरे को जकड़े रहे। फिर उसने पानी से मेरा लंड, अपनी बुर, और गांड साफ कर दिया।
वह बोली- राजा, अभी जाने नहीं दूँगी। अभी मन नहीं भरा है।
“रानी, मैं अभी नहीं जाऊँगा।”
और मैंने सारी रात उसे चोदा। Antarvasna

Antarvasna

हैलो, दोस्तो ये मेरी पहली कहानी है Antarvasna जो मैं आप को बताने जा रहा हूं। मेरा नाम राज है। मैं जब स्कूल में था तो काफ़ी शर्मीला हुआ करता था लेकिन जब मैं कोलेज पहुंचा तो वहां पर जो दोस्त मिले उनके साथ मैने एक चालू औरत के साथ उसके घर पर उसके पियक्कड पति के सामने चुदाई की और तब से यह सिलसिला आज तक चल रहा है।

वैसे तो मैंने अपनी ज़िंदगी में कई लड़कियों, कई आंटियों और भाभियों को चोदा है लेकिन आज जो घटना मैं आप लोगों को बताने जा रहा हूं वो मेरी ज़िंदगी में बिल्कुल अचानक घटी थी जब मैंने अपनी आंटी को ही चोद डाला।

पहले तो मैं आप लोगों को अपनी आंटी के बारे में बता दूं। वो 30 साल की, गोरा रंग, टाइट बोडी, बड़ी बड़ी चूचियां, ऐसा की जो भी देखे देखता ही रह जाये। वो दिल्ली में रहती है। उसके 2 बच्चे हैं। एक 10 और दूसरा 7 साल के

पिछले दिसम्बर में उनके घर गया था ओफ़िस के काम से, मैं मुम्बई में जोब करता हूं। और मेरा काम ऐसा है कि पूरा हिंदुस्तान घूमना पड़ता है।

दिल्ली में दिसम्बर के महीने में काफ़ी ठंड होती है। अंकल नाइट शिफ़्ट की ड्युटी करने गये था। घर छोटा होने के कारण हम एक ही रूम में सोये था। मैं बेड पर सोया था और आंटी बच्चों के साथ नीचे लेटी थी। ठंड काफ़ी थी इसलिये बेड पर सोते ही मुझे नींद आ गयी।
रात के 2 बजे पेशाब करने के लिये अचानक मेरी नींद खुली तो मैंने देखा आंटी एक पतली सी चादर ओढ़ी हुई है और बुरी तरह से कांप रही थी और बच्चे एक कम्बल में सो रहे थे। शायद घर में दो ही कम्बल थे, एक उन्होंने मुझे दिया था और दूसरा बच्चों को उढ़ाया था।
मैंने लाइट जलाई तो आंटी उठ कर बैठ गयी लेकिन वो बुरी तरह से कांप रही थी। मैंने कहा आप ऊपर बेड में चली जायें मैं नीचे सो जाता हूं, तो उन्होंने कहा ठंड बहुत है तुम्हें ठंड लग जायेगी। मैंने कहा आप तो बुरी तरह से कांप रही है ठीक से बोल भी नहीं पा रही हैं आप ऊपर बेड पे सो जाओ।

और इतना कह कर मैंने उनका हाथ पकड़ कर ऊपर बेड पे बैठा कर पेशाब करने चला गया। वापस आ कर देखा तब भी वो कम्बल के अन्दर बुरी तरह से कांप रही थी। तभी उन्होंने कांपते हुए कहा राज लाइट बंद करके तुम भी बेड पर सो जाओ।

मैंने लाइट बंद की और उनके पास आ कर सो गया। बेड छोटा होने के कारण हम एक दूसरे से बिल्कुल सटे हुए थे। तभी उनका हाथ मैंने छुआ तो वो काफ़ी ठंडा था और वो अब भी कांप रही थी ठंड से।

फिर आंटी ने मुझसे कहा- राज मुझे ज़ोर से पकड़ो मुझे बहुत ठंड लग रही है।
मैंने उनको कहा कि आप घूम कर सो जाओ!
और उनके सर को मैंने अपने एक हाथ के नीचे रखा और दूसरा उनके पेट पर रखा।अब हम दोनो की पोजिशन कुछ इस तरह थी कि उनकी गांड मेरे लंड पे पूरी तरह से चिपकी हुई थी और मैं पूरी तरह से उसे दोनो हाथों से पकड़े हुआ था।
मेरा लंड आंटी की गांड की दरार के बीच में घुस कर टाइट होने लगा था।
मैं अपनी कमर को पीछे ले जाने लगा और अपनी पकड़ को भी ढीला करने लगा। लेकिन आंटी बहुत बुरी तरह से कांप रही थी और मेरे हाथ को अपने हाथ से ज़ोर से पकड़े हुई थी। मैं आंटी के साथ कुछ गलत सोच भी नहीं सकता था लेकिन मेरा लंड मेरी बस में नहीं था। मेरा लंड अब बेकाबू हो रहा था और वो पूरी तरह से आंटी की चूत में घुसने को तैयार था।

तभी आंटी ने मेरे हाथ को अपनी कमीज़ के नीचे घुसा कर अपने पेट पर रख दिया उनका पेट बर्फ़ की तरह ठंडा हो रहा था। मेरा गर्म हाथ रखने से उनको काफ़ी अच्छा लग रहा था आंटी मेरे हाथ को पकड़ कर अपने पेट पेर और ज़ोर से रगड़ने लगी। मैं धीरे धीरे उसके पेट को सहलाने लगा। सहलाने के कारण कई बार मेरा हाथ उनकी चूचियों से टकराया लेकिन उन्होंने कुछ नहीं कहा।

मैंने हिम्मत करके उसके एक दूध को पकड़ कर सहलाने लगा। उसकी दूध का निप्पल बिल्कुल टाइट हो कर बाहर निकल गया था। मैं उनके निप्पल को उंगलियों के बीच रख कर धीरे धीरे घुमाने लगा। अब उसके मुंह से सिसकियाँनिकलनी शुरू हो गयी थी।

फिर मैंने उनकी कमीज़ पीछे से पूरी उठा कर उसके गर्दन तक कर दिया और उसकी ब्रा के हुक भी खोल दिये फिर मैंने भी अपना बनियान उतार कर अपने पेट और सीने को उसकी नंगी पीठ पर सटा कर पुरी तरह से चिपक गया।

उसे मेरे जिस्म की गर्मी अच्छी लग रही थी वो भी मुझसे पूरी तरह से चिपक गयी थी। अब मेरे लंड को और रोक पाना मेरे लिये मुश्किल हो रहा था। मैं उसके पायजामे को धीरे धीरे नीचे करने लगा तो वो थोड़ी थोड़ी कमर उठाने लगी। मैं समझ गया कि आंटी को अब लंड की गर्मी की ज़रूरत है वो अब पूरी तरह से तैयार थी।

मैंने अब उसे पायजामे को पूरा उतार दिया और अपनी लुंगी को भी उतार दिया। फिर मैंने अपने लंड को उसकी चूत पे रख कर धीरे से एक धक्का मारा और लंड पूरा का पूरा चूत में घुस गया। मैं अब उसकी चूचियों को अपने हातों से ज़ोर ज़ोर से दबा रहा था। थोड़ी देर के बाद वो मेरी तरफ़ घूम गयी। मैं अब उसके दोनो पैरों को खोल कर बीच में बैठ गया और उसकी चूचियों को मुंह से चूसने लगा। तभी उसने मेरे लंड को पकड़ कर अपनी चूत की तरफ़ खीचने लगी। मैं समझ गया कि उसकी चूत चुदवाने के लिये बेताब हो रही है।

मैंने अपने लंड को उसकी चूत के छेद पर रख कर एक जोर का झटका मारा और पूरा का पूरा लंड उसकी बुर में घुस गया। वो पूरी मस्ती में आ चुकी थी। उसके मुंह से ऊह आह की आवाज़ निकल रही थी।
मैं पूरी स्पीड में अपने लंड को पूरा बाहर कर के अंदर डाल रहा था। लंड और बुर के टकराने से थप थप की आवाज़ आ रही थी। आंटी भी अपनी कमर को उठा उठा कर पूरा साथ दे रही थी।

फिर अचानक वो मेरे कमर को पकड़ का ज़ोर ज़ोर से खीचने लगी मैं भी ज़ोर ज़ोर से उसे चोदने लगा और फिर अचानक मेरे लंड ने 8-10 झटके में पिचकारी की तरह पूरी गर्मी आंटी के बुर में भर दिया। आंटी भी पूरी ताकत से मेरे सीने से चिपक गयी। हम दोनो आधे घंटे तक वैसे ही पड़े रहे। आधे घंटे के बाद मेरे लंड में फिर से जोश आने लगा।

मैंने आंटी को उल्टा लिटा दिया और पीछे से उसके बुर को चोदने लगा। पीछे से चोदने में मुझे ऐसा लग रहा था जैसे मैं किसी कुंवारी लड़की की चुदाई कर रहा था। उसकी गोल गोल गांड मेरे लंड के दोनो तरफ़ इस तरह से फ़िट हो रही थी मानो मेरे लिये ही वो गांड बनी हो। मैं फ़ुल स्पीड में उसकी चुदाई करने लगा और इस बार भी लंड ने सब गर्मी बाहर निकाली तो उसकी बुर मेरे वीर्य से भर गयी। अब वो पूरी तरह से नोर्मल हो चुकी थी।

फिर हम सो गये। सुबह वो मुझे जगाई तो मैं उनसे नज़र नहीं मिला पा रहा था। लेकिन वो मुझे देख कर मुस्कुरा रही थी।
बच्चे भी स्कूल जा चुके थे।

तभी अचानक दरवाजे पर किसी ने खटखटाया, मैं समझा अंकल आ गये।
दरवाज़ा खुला तो एक खूबसूरत लड़की, बिल्कुल टाइट जीन्स और टी-शर्ट में अन्दर आयी और आंटी से कहा की अंकल ने फोन किया था अभी और कहा है कि वो ओवरटाइम पर हैं।
मैं खुश हो गया। फिर वो लड़की चली गयी।
मैंने आंटी से पूछा कि ये लड़की कौन है?
तो उन्होंने कहा कि मकान मालिक की बेटी है।
मैं आंटी को मुस्कुराते हुए देखा और कहा- आंटी, मुझे इसे चोदना है। तुम कुछ करो न प्लीज़।

आंटी बोली- नहीं नहीं, मैं कुछ नहीं कर सकती।

इतना सुनते ही मैंने आंटी को बेड पर पटक दिया और उसकी चूचियों को ब्रा से निकाल कर चूसने लगा और कहा बोलो- अब उसे मुझसे चुदवाने के लिये तैयार करोगी या नहीं।
आंटी हंसते हुए बोली- अच्छा बाबा मैं उसे तुम्हारे लिये तैयार करती हूं।
मैंने कहा ये हुई न बात!
और फिर आंटी के सारे कपड़े उतार कर फिर से उसकी चुदाई करने के लिये उसे गर्म करने लगा।
दिन के उजाले मैं उसकी खूबसूरती बिल्कुल साफ़ साफ़ दिख रही थी। उसकी नंगे जिस्म को देकते ही मेरा लंड लुंगी से बाहर आने को बेताब होने लगा। मैंने अपनी लुंगी निकाली और आंटी की ऐसी चुदाई की कि वो मेरी दिवानी बन गयी। Antarvasna

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